ZEE जानकारी: क्या अब लोकतंत्र में बहुमत होटलों में बंद हो गया है
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ZEE जानकारी: क्या अब लोकतंत्र में बहुमत होटलों में बंद हो गया है

आज सुप्रीम कोर्ट में भी देवेंद्र फड़नवीस को मुख्यमंत्री पद के लिए दिलाई गई शपथ के खिलाफ दायर एक याचिका पर सुनवाई हुई .

ZEE जानकारी: क्या अब लोकतंत्र में बहुमत होटलों में बंद हो गया है

हम इस सवाल का विश्लेषण करेंगे कि क्या अब लोकतंत्र में बहुमत होटलों में बंद हो गया है. भारत का सबसे पहला आधुनिक Hotel. कोलकाता में वर्ष 1841 में खोला गया था.. जिसका नाम था Great Eastern Hotel.. बाद में इसका नाम बदलकर The LaLiT Great Eastern Kolkata हो गया. 179 वर्ष पहले खोले गए इस Hotel का मकसद ग्राहकों को एक ही छत के नीचे दुनिया की हर सुख और सुविधा देना था . लेकिन अब भारत के कई Luxury Hotels...लोकतंत्र के ऐसे नए मंदिर बन गए हैं. जहां सरकार बनने से पहले नेताओं को सारी सुख सुविधाओं के बीच रखा जाता है.

ताकि बहुमत होने का दावा करने वाली पार्टियां आखिरी समय पर..अपने ही विधायकों के धोखे का शिकार ना हो जाएं. आप कह सकते हैं कि विधानसभा में किसी पार्टी के पास.. पर्याप्त विधायक हो ना हो...होटलों में इतने विधायक ज़रूर होते हैं कि सरकार का गठन आसानी से हो जाए. इसलिए आज हम होटलों में बंद इसी बहुमत का विश्लेषण करेंगे . इसलिए आज सोशल मीडिया पर दिन भर ये मज़ार भी ट्रेंड कर रहा था कि मुंबई के एक होटल मालिक ने भी सरकार बनाने का दावा पेश कर दिया है..क्योंकि उसका कहना है कि सबसे ज्यादा विधायक उसी के पास है.

आज सुप्रीम कोर्ट में भी देवेंद्र फड़नवीस को मुख्यमंत्री पद के लिए दिलाई गई शपथ के खिलाफ दायर एक याचिका पर सुनवाई हुई . सुप्रीम कोर्ट ने दोनों पक्षों की दलीलें सुनने के बाद कहा कि कोर्ट इस मामले पर कल सुबह साढ़े 10 बजे फैसला सुनाएगा .

सुप्रीम कोर्ट में चारों पार्टियां बहुमत होने का दावा कर रही हैं . एक दूसरे पर अनैतिक होने का आरोप लगा रही हैं और कोर्ट से न्याय की मांग कर रही हैं . लेकिन सबसे बड़ा अन्याय जनता के साथ हो रहा है..क्योंकि जनता ने जिन पार्टियों को सत्ता दी..और जिन्हें विपक्ष में बैठने का आदेश दिया.

वो पार्टियां जनता के फैसले को ठोकर मार चुकी हैं. जिन नेताओं को विपक्ष में बैठना था..वो सरकार बनाने जा रहे हैं . जो शिवसेना खुद को हिंदुत्व का प्रहरी कहती थी और सेक्युलर पार्टियों को अछूत समझती थी..वो शिवसेना अब कांग्रेस और NCP के साथ सरकार बनाने के लिए बेकरार है. जो बीजेपी कहती थी कि सत्ता में आए तो अजित पवार से चक्की पिसवाएंगे वो बीजेपी अजित पवार को उपमुख्यमंत्री बना देती है . यानी नेताओं के लिए... महाराष्ट्र में किसी भी कीमत पर सत्ता हासिल करना ही अब नैतिकता है . और ये नैतिकता फिलहाल मुंबई के कुछ महंगे होटलों में बंद है.

भारत का सबसे पहला आधुनिक Hotel.... कोलकाता में वर्ष 1841 में खोला गया था.. जिसका नाम था Great Eastern Hotel.. बाद में इसका नाम बदलकर The LaLiT Great Eastern Kolkata हो गया . 179 वर्ष पहले खोले गए इस Hotel का मकसद ग्राहकों को एक ही छत के नीचे दुनिया की हर सुख और सुविधा देना था . लेकिन अब भारत के कई Luxury Hotels.

लोकतंत्र के ऐसे नए मंदिर बन गए हैं . जहां सरकार बनने से पहले नेताओं को सारी सुख सुविधाओं के बीच रखा जाता है..ताकि बहुमत होने का दावा करने वाली पार्टियां आखिरी समय पर..अपने ही विधायकों के धोखे का शिकार ना हो जाएं. आप कह सकते हैं कि विधानसभा में किसी पार्टी के पास.

पर्याप्त विधायक हो ना हो...होटलों में इतने विधायक ज़रूर होते हैं कि सरकार का गठन आसानी से हो जाए . इसलिए आज हम होटलों में बंद इसी बहुमत का विश्लेषण कर रहे हैं . इसलिए आज सोशल मीडिया पर दिन भर ये मज़ार भी ट्रेंड कर रहा था कि मुंबई के एक होटल मालिक ने भी सरकार बनाने का दावा पेश कर दिया है..क्योंकि उसका कहना है कि सबसे ज्यादा विधायक उसी के पास है .

आज सुप्रीम कोर्ट में भी देवेंद्र फड़नवीस को मुख्यमंत्री पद के लिए दिलाई गई शपथ के खिलाफ दायर एक याचिका पर सुनवाई हुई . सुप्रीम कोर्ट ने दोनों पक्षों की दलीलें सुनने के बाद कहा कि कोर्ट इस मामले पर कल सुबह साढ़े 10 बजे फैसला सुनाएगा .

सुप्रीम कोर्ट में चारों पार्टियां बहुमत होने का दावा कर रही हैं . एक दूसरे पर अनैतिक होने का आरोप लगा रही हैं और कोर्ट से न्याय की मांग कर रही हैं . लेकिन सबसे बड़ा अन्याय जनता के साथ हो रहा है..क्योंकि जनता ने जिन पार्टियों को सत्ता दी..और जिन्हें विपक्ष में बैठने का आदेश दिया...वो पार्टियां जनता के फैसले को ठोकर मार चुकी हैं.

जिन नेताओं को विपक्ष में बैठना था..वो सरकार बनाने जा रहे हैं . जो शिवसेना खुद को हिंदुत्व का प्रहरी कहती थी और सेक्युलर पार्टियों को अछूत समझती थी..वो शिवसेना अब कांग्रेस और NCP के साथ सरकार बनाने के लिए बेकरार है . जो बीजेपी कहती थी कि सत्ता में आए तो अजित पवार से चक्की पिसवाएंगे वो बीजेपी अजित पवार को उपमुख्यमंत्री बना देती है . यानी नेताओं के लिए... महाराष्ट्र में किसी भी कीमत पर सत्ता हासिल करना ही अब नैतिकता है . और ये नैतिकता फिलहाल मुंबई के कुछ महंगे होटलों में बंद है.

आज हमने इस बात को भी समझने की कोशिश की है ..कि मुंबई के होटलों में विधायकों को बचाकर रखने पर..पार्टियां कितना पैसा खर्च कर रही हैं . सबसे पहले बात शिवसेना की कर लेते हैं . जिसने मुंबई के अलग-अलग होटलों में अपने विधायकों को रखने के लिए करीब 62 लाख 99 हज़ार रुपये खर्च किए हैं .

इस तरह NCP अपने विधायकों को बचाने के लिए अलग अलग होटलों में बुक कमरों पर 34 लाख रुपये से ज्यादा खर्च कर चुकी है . तो कांग्रेस का होटल बिल भी 30 लाख रुपये के आसपास है . आप स्क्रीन पर देख सकते हैं कि जिन होटलों में इन पार्टियों ने कमरे बुक कराए हैं..उनका प्रतिदिन का किराया क्या है और कमरों की संख्या कितनी है .

इन Hotels में विधायकों के अलावा पार्टियों के नेताओं, सुरक्षा कर्मियों वरिष्ठ कार्यकर्ताओं और Staff के लिए भी कमरे बुक होते हैं . ज्यादातर होटलों में प्रति व्यक्ति खाने का खर्च 7 से 8 हज़ार रुपये आता है .

इन कीमतों के बारे में हमे होटल के स्टाफ, अलग-अलग पार्टियों के सूत्रों और Hotels की Websites से पता लगा है . इसलिए असली बिल में थोड़ा बहुत अंतर भी संभव है . लेकिन ये सब देखकर लगता है कि सत्ता का रास्ता अब विधानसभाओं और संसद के गलियारों से होकर नहीं...बल्कि Hotels के गलियारों से होकर जाता है .

वैसे अभी तक ये साबित नहीं हो पाया है कि इस परेड में 162 विधायक शामिल थे या नहीं ...लेकिन परेड के बाद..दोनों पक्षों के नेताओं ने बड़े बड़े बयान दिए और एक दूसरे को विधानसभा में हराने के दावे भी किए .

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