लगातार पॉल्यूशन के संपर्क में रहने से त्वचा समय से पहले बूढ़ी दिखने लगती है, ऑक्सीडेटिव स्ट्रेस बढ़ता है, सूजन और सेल डैमेज जैसी समस्याएं होती हैं.
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शहरों की लाइफस्टाइल का हिस्सा बन चुकी बढ़ती प्रदूषण की समस्या केवल सेहत पर ही नहीं बल्कि त्वचा पर भी बुरा असर डालती है. शोध बताते हैं कि लगातार पॉल्यूशन के संपर्क में रहने से त्वचा समय से पहले बूढ़ी दिखने लगती है, ऑक्सीडेटिव स्ट्रेस बढ़ता है, सूजन और सेल डैमेज जैसी समस्याएं होती हैं. इसका परिणाम चेहरे की रौनक खत्म होने, पिंपल्स, एक्जिमा और सोरायसिस जैसे त्वचा रोगों के रूप में देखने को मिलता है.
हालांकि डबल क्लींजिंग और स्किनकेयर रूटीन कुछ हद तक मददगार साबित हो सकते हैं, लेकिन ये प्रदूषण से होने वाले पूरे नुकसान को रोकने में सक्षम नहीं हैं. ऐसे में आधुनिक स्किन ट्रीटमेंट्स एक बेहतर विकल्प के रूप में उभर रहे हैं. ये न केवल त्वचा को रिपेयर और रेजुवेनेट करते हैं, बल्कि उसे भविष्य के नुकसान से भी बचाते हैं. एस्थेटिक फिजिशियन डॉ. प्रियंका रत्नपुरोलू ने 7 ऐसे सुपर इफेक्टिव ट्रीटमेंट्स के बारे में बताया गया है, जो शहरी पॉल्यूशन से जूझ रही त्वचा के लिए बेहद फायदेमंद हैं:
1. हाइड्राफेशियल्स
यह एक ऑल-इन-वन ट्रीटमेंट है, जो त्वचा को क्लीन, एक्सफोलिएट और डीपली हाइड्रेट करता है. यह पॉल्यूशन से बंद हुए पोर्स को साफ करता है और त्वचा को एंटीऑक्सीडेंट व सीरम से भरपूर बनाता है.
2. केमिकल पील्स
त्वचा को तरोताजा और चमकदार बनाने के लिए केमिकल पील्स आजकल काफी प्रचलित हैं. इसमें खास तरह के एसिड का इस्तेमाल कर डेड स्किन सेल्स को हटाया जाता है, जिससे त्वचा स्मूद और ब्राइट दिखती है.
3. माइक्रोडर्माब्रेशन
इस ट्रीटमेंट में फाइन क्रिस्टल्स या डायमंड-टिप वैंड का उपयोग कर त्वचा की ऊपरी परत को एक्सफोलिएट किया जाता है. यह न केवल पॉल्यूटेंट्स हटाता है, बल्कि प्रोडक्ट्स के बेहतर अवशोषण में भी मदद करता है.
4. कार्बन लेजर पील
कार्बन और लेजर तकनीक का उपयोग कर यह ट्रीटमेंट त्वचा से डीप-सीटेड टॉक्सिन्स को बाहर निकालता है. यह पोर्स को टाइट करने और कोलेजन प्रोडक्शन को बढ़ाने में मदद करता है.
5. ऑक्सीजन थैरेपी
यह ट्रीटमेंट त्वचा में ऑक्सीजन लेवल को बहाल करता है और जरूरी पोषक तत्व प्रदान करता है. यह हाइड्रेशन को बढ़ाने और त्वचा की चमक को बरकरार रखने में मदद करता है.
6. फेशियल लिम्फेटिक ड्रेनेज
इस थेरेप्यूटिक मसाज से टॉक्सिन्स बाहर निकलते हैं और सूजन कम होती है. यह पॉल्यूशन से होने वाली पफीनेस और स्किन टोन सुधारने में कारगर है.
7. एलईडी लाइट थैरेपी
लाल और नीली लाइट की मदद से यह ट्रीटमेंट त्वचा की अलग-अलग समस्याओं को टारगेट करता है. यह कोलेजन प्रोडक्शन बढ़ाने और एक्ने को कम करने में मदद करता है.
Disclaimer: प्रिय पाठक, हमारी यह खबर पढ़ने के लिए शुक्रिया. यह खबर आपको केवल जागरूक करने के मकसद से लिखी गई है. हमने इसको लिखने में सामान्य जानकारियों की मदद ली है. आप कहीं भी कुछ भी अपनी सेहत से जुड़ा पढ़ें तो उसे अपनाने से पहले डॉक्टर की सलाह जरूर लें.