सांप के काटने से हर साल हजारों लोगों की मौत होती है. इसका कारण समय पर जहर को कम करने वाली दवा का न मिल पाना है. लेकिन अब ऐसे में मामले कम हो सकते हैं. वैज्ञानिकों ने सांप के जहर के लिए असरदार और किफायती दवा को बनाने का फार्मूला खोज लिया है.
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हर साल भारत में हजारों लोग सांप के काटने की वजह से अपनी जान गंवा देते हैं, खासकर ग्रामीण इलाकों में जहां समय पर इलाज नहीं मिल पाता. लेकिन अब इस खतरनाक स्थिति से निपटने की एक नई और बेहद असरदार उम्मीद जगी है. बीकानेर के एक वैज्ञानिक संस्थान की रिसर्च में सामने आया है कि ऊंट के आंसू और खून में मौजूद एंटीबॉडीज से एक ऐसी दवा बनाई जा सकती है, जो सांप के जहर को बेअसर कर सकती है.
यह दवा न केवल पुराने एंटी वेनम से ज्यादा कारगर साबित हो रही है, बल्कि बनाना भी आसान और सस्ता है. यह खोज ग्रामीण भारत के लिए किसी संजीवनी से कम नहीं, जहां अब तक दवा की कमी से हर साल लगभग 58 हजार मौतें होती हैं और लाखों लोग अपाहिज हो जाते हैं.
#DNAWithRahulSinha | ऊंट का दूध ही नहीं..आंसू भी 'मूल्यवान'! ऊंट के आंसू से सांप के जहर का इलाज! #DNA #Camel @RahulSinhaTV pic.twitter.com/lCYSrEj72E
— Zee News (@ZeeNews) July 5, 2025
ऊंट के आंसू में छिपी संजीवनी
वैज्ञानिकों की रिसर्च में पता चला है कि ऊंट के आंसुओं और खून में खास तरह की एंटीबॉडीज होती हैं, जो सांप के जहर के असर को कम करने में मदद करती हैं. यह दवा खून बहने, थक्के बनने और अन्य गंभीर असर को रोकने में भी कारगर है. इस रिसर्च के तहत बीकानेर, जैसलमेर और जोधपुर जैसे इलाकों से ऊंटों के आंसू और खून के सैंपल जुटाए जा रहे हैं. इसके बदले ऊंट मालिकों को 5000 से 10,000 रुपये तक दिए जा रहे हैं.
क्यों खास है ये तरीका?
परंपरागत एंटी वेनम दवाएं अक्सर महंगी होती हैं और उनकी मात्रा भी सीमित रहती है. लेकिन ऊंट आधारित एंटी वेनम दवा न केवल सस्ती है, बल्कि इसे बड़े पैमाने पर तैयार किया जा सकता है. इससे समय पर इलाज मिल सकेगा और जानें बचाई जा सकेगी.
मान्यता बनी रिसर्च की वजह
एक पुरानी मान्यता है कि जब ऊंट बहुत बीमार पड़ता है, तो उसे जिंदा जहरीला सांप खिलाया जाता है. अजीब बात ये है कि सांप को खाने के बाद ऊंट की तबीयत सुधर जाती है. वैज्ञानिकों ने इस मान्यता के पीछे का कारण खोजा और पाया कि सांप के खून में ऐसा एंटीबायोटिक होता है जो उसके ही जहर के असर को खत्म कर देता है. अब वैज्ञानिक उसी से दवा बना रहे हैं.
Disclaimer: यहां दी गई जानकारी घरेलू नुस्खों और सामान्य जानकारियों पर आधारित है. इसे अपनाने से पहले चिकित्सीय सलाह जरूर लें. ZEE NEWS इसकी पुष्टि नहीं करता है.