रोहतक के गांव में स्थिति तनावपूर्ण, जांच के आदेश
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रोहतक के गांव में स्थिति तनावपूर्ण, जांच के आदेश

रोहतक के करोंथा गांव में स्थिति तनावपूर्ण लेकिन नियंत्रण में है जहां एक आश्रम में कल दो गुटों के बीच हुए संघर्ष में तीन लोग मारे गए और करीब 100 अन्य घायल हो गए थे।

रोहतक (हरियाणा) : रविवार को हुए संघर्ष की शिकार कार्यकर्ता के शव के साथ प्रदर्शनकारियों द्वारा सड़क अवरुद्ध करने से हरियाणा के रोहतक के करौंथा गांव में सोमवार को तनाव की स्थिति बनी रही। वहीं, राज्य के मुख्यमंत्री भूपिंदर सिंह हुड्डा ने हिंसा की मजिस्ट्रेटी जांच के आदेश दिए हैं।
आर्य समाज कार्यकर्ताओं ने सतलोक आश्रम के निकट रोहतक-झज्जर मार्ग पर 40 वर्षीय प्रोमिला का शव रखकर प्रदर्शन किया और इस मामले में गिरफ्तार अपने नेताओं की रिहाई तक वहां से हटने से मना कर दिया।

करौंथा ग्राम निवासी प्रोमिला कथित तौर पर कल तब गोली की शिकार हुयी जब सतलोक आश्रम पर अधिकार को लेकर चल रहे विवाद ने हिंसक रूप ले लिया। पुलिसकर्मियों ने आर्य समाज कार्यकर्ताओं को आश्रम की ओर जाने से रोका।
आर्य समाज के अनुयायियों और पुलिस के बीच संघर्ष में 50 पुलिसकर्मियों सहित 100 से ज्यादा लोग घायल हो गए और तीन लोगों की जान चली गयी। पोस्टमार्टम के बाद प्रोमिला के शव को उसके परिवारवालों को सौंप दिया गया।
अस्पताल के बाहर बड़ी संख्या में जमा आर्यसमाज के कार्यकर्ता एक गाड़ी से उसके शव को ले गए और सतलोक आश्रम के करीब रोहतक-झज्जर मार्ग पर उसे रखा। रोहतक-झज्जर राजमार्ग पर यातायात अवरुद्ध रहा जिससे पुलिस को गाडियों को अन्य मार्गों की तरफ मोड़ना पड़ा।
जिन इलाकों में तनाव व्याप्त है वहां शांति बनाए रखने के लिए 500 सीआरपीएफ कर्मियों के अलावा पर्याप्त संख्या में पुलिस बल को भी तैनात किया गया है।
रोहतक आईजीपी अनिल राव ने बताया, ‘स्थिति तनावपूर्ण लेकिन नियंत्रण में है। मुद्दे के समाधान के लिए प्रयास किए जा रहे हैं। डीजीपी खुद हालात पर नजर रखे हुए हैं।’ मुख्यमंत्री ने कल हुई हिंसा की जांच अतिरिक्त जिला मजिस्ट्रेट से कराने के आदेश दिए हैं और मारे गए एक व्यक्ति के परिजन को 10 लाख रुपये देने की घोषणा की है।
सतलोक आश्रम पर कब्जे को लेकर मामले ने कल उस समय हिंसक रूप ले लिया जब पुलिस ने आर्य प्रतिनिधि सभा कार्यकर्ताओं को आश्रम की तरफ जाने से रोका। (एजेंसी)

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