रक्षा क्षेत्र में खुद को 'बेहद मजबूत' कर रहा चीन, डिफेंस बजट 177.61 बिलियन डॉलर किया गया
भारत के इस पड़ोसी देश ने इस साल अपना डिफेंस बजट 7.5 फीसदी बढ़ाया है, जोकि अब 177.61 बिलियन डॉलर हो गया है, जोकि भारत से तीन गुना ज्यादा है.
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नई दिल्ली : अमेरिका के बाद रक्षा पर सबसे अधिक खर्च करने वाले चीन ने एक बार फिर अपने रक्षा बजट में बड़ी वृद्धि की है. भारत के इस पड़ोसी देश ने इस साल अपना डिफेंस बजट 7.5 फीसदी बढ़ाया है, जोकि अब 177.61 बिलियन डॉलर हो गया है, जोकि भारत से तीन गुना ज्यादा है. चीन ने रक्षा बजट में भारी आवंटन का वैश्विक लिहाजा से बचाव भी किया और कहा है कि उसने किसी अन्य देश के लिए कोई 'खतरा' उत्पन्न नहीं किया है.
चीन की संसद के शुरुआती सत्र में पेश किए गए ड्राफ्ट बजट रिपोर्ट के अनुसार, 2019 का रक्षा बजट 1.19 ट्रिलियन युआन यानि 177.61 बिलियन डॉलर रखा गया है. भारतीय मुद्रा में यह 1,25,83,40,20,85,000 रुपये होगा. हालांकि इस साल डिफेंस बजट में की गई बढ़ोतरी पिछले साल की तुलना में पिछले साल से कम है. पिछले साल चीन ने अपना रक्षा बजट 8.1 प्रतिशत बढ़ाया था.
दरअसल, चीन 2015 से ही अपने रक्षा बजट में दहाई के आंकड़े में लगातार इजाफा करता रहा, लेकिन 2016 में उसने इसे घटाकर एकल अंक बढ़ोतरी कर दिया. चीन ने 2016 में अपने रक्षा बजट में 7.6, 2017 में 7 तो 2018 में 8.1 फीसदी का इजाफा किया था.
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इस साल की वृद्धि के साथ ही चीन का रक्षा क्षेत्र के लिए बजट 200 बिलियन डॉलर के आंकड़े के नजदीक पहुंच गया है, जोकि अमेरिका के बाद दूसरा सबसे ज्यादा बजट है.
भारत सरकार ने वित्त वर्ष 2018-19 में रक्षा बजट के लिए 2.95 लाख करोड़ रुपए आवंटित किए, जो पिछले साल के 2.74 लाख करोड़ रुपए की तुलना में 7.81 फीसदी ज्यादा रहा. आम बजट में कुल रक्षा बजट के तहत सेना के तीनों अंगों के लिए नए हथियारों, विमानों, जंगी जहाजों और अन्य सैन्य साजो-सामान की खरीद के लिए 99,947 करोड़ रुपए की राशि निर्धारित की गई. रक्षा बजट 2018-19 के लिए निर्धारित कुल 24,42,213 करोड़ रुपए के आवंटन का 12.10 प्रतिशत है.