Rajnath Singh Vladimir Putin meet on S400: दो दिन के बाद राजनाथ सिंह और रूस के राष्ट्रपति पुतिन के बीच एक बैठक होने जा रही है. जिसमें S-400 मिसाइल सिस्टम को लेकर फैसला हो सकता है. हिंदुस्तान की वायुसीमा में किसी भी दुश्मन की आहट मिलते S-400 मिसाइल सिस्टम अपने अचूक वार से उसका खात्मा करने की क्षमता से लैस है. इसके एक्टिव होते ही 400 किलोमीटर की हवाई रेंज में कोई टारगेट बच नहीं सकता.
भारत ने साल 2018 में 5 S-400 मिसाइल सिस्टम के लिए समझौता किया था. भारत को इसकी कई खेप मिल चुकी हैं. रिपोर्टस के मुताबिक रूस ने इसमें से 3 की सप्लाई कर दी है लेकिन 2 यूनिट की आपूर्ति होना अभी बाकी है.
रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह जब राष्ट्रपति पुतिन से मुलाकात करेंगे तो S-400 पर दो बातों पर चर्चा होगी पहला ये कि बचे हुए मिसाइल सिस्टम तय वक्त पर दिया जाए.
वहीं दूसरी ये कि सबसे एडवांस सिस्टम की ही सप्लाई हो और जल्द हो. आपको बता दें कि S-400 मिसाइल सिस्टम भारत के लिए बहुत महत्वपूर्ण है.
S-400 प्रणाली न केवल फाइटर जेट्स बल्कि क्रूज मिसाइलों, बैलिस्टिक मिसाइलों, ड्रोन और यहां तक कि अमेरिका में बने स्टील्थ विमानों को भी निशाना बना सकती है.
रूसी S-400 मिसाइल सिस्टम की भारत को आपूर्ति के सवाल पर एंड्री रुडेंके ने जोर देकर कहा कि मॉस्को अपने अनुबंधों का पूरी तरह से पालन करेगा.
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