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Snakes Diseases: सांपों को भी होती हैं इंसानों वाली ये बीमारियां, एक का नाम जानकर यकीन नहीं होगा

Snakes Diseases: इंसानों की तरह ही जानवर भी बीमार पड़ते हैं और कई मामलों में वे ऐसी बीमारियों से पीड़ित होते हैं जो इंसानों की बीमारियों से काफी मिलती-जुलती होती हैं. इन जानवरों में सांप भी शामिल हैं, जिसे इंसानों जैसी ही बीमारियां होती हैं. सांप कई तरह के इंफेक्शन, पोषण असंतुलन ( Nutritional Imbalance ), परजीवियों ( parasites ) और यहां तक कि जानलेवा बीमारी कैंसर के प्रति भी संवेदनशील होते हैं. हैरानी की बात यह है कि इनमें से कई बीमारियां इंसानों में देखी जाने वाली बीमारियों के समान ही होती हैं, चाहे लक्षण हों या गंभीरता. तो चलिए सांपों में होने वाली पांच आम बीमारियों के बारे में जानते हैं, जो इंसानों की बीमारियों से काफी मिलती जुलती हैं.

 

निमोनिया ( Snake Pneumonia )

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निमोनिया ( Snake Pneumonia )

सांपों में गंभीर श्वसन संक्रमण ( Respiratory Infection ) हो सकता है, खासकर जब उन्हें बहुत ठंडे या नम वातावरण में रखा जाता है. ये इंफेक्शन अक्सर बैक्टीरिया, वायरल या फंगल से होते हैं, फेफड़ों को प्रभावित करते हैं. लक्षणों में घरघराहट, मुंह खोलकर सांस लेना, नाक से स्राव और सुस्ती शामिल हैं. यह स्थिति इंसानों में निमोनिया के समान ही है. अगर तुरंत इलाज न हो तो यह घातक हो सकता है. बंदी सांपों में इस आम स्वास्थ्य समस्या को रोकने के लिए सही गर्मी और आर्द्रता का स्तर बनाए रखना जरूरत है.

स्टोमेटाइटिस ( Stomatitis )

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स्टोमेटाइटिस ( Stomatitis )

स्टोमेटाइटिस या 'माउथ रॉट' एक दर्दनाक जीवाणु संक्रमण है जो सांप के मुंह को बुरी तरह से मुतासिर करता है. यह अक्सर मामूली चोट या तनाव से शुरू होता है और मसूड़ों में सूजन, मवाद और खाने में कठिनाई तक जा सकता है. अगर इसका इलाज न किया जाए, तो संक्रमण जबड़े की हड्डी तक फैल सकता है, जो इसानों में मसूड़ों की बीमारी या मौखिक संक्रमण के बराबर है. इस स्थिति में तुरंत पशु चिकित्सा देखभाल की जरूरत होती है.

 

Internal and external Parasites

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Internal and external Parasites

सांप आमतौर पर अपने शरीर के अंदर और बाहर दोनों जगह parasites से प्रभावित होते हैं. आंतरिक रूप से वे कीड़े या प्रोटोजोआ ले जा सकते हैं, जो पाचन संबंधी समस्याओं और वजन घटाने का कारण बन सकते हैं. बाहरी रूप से, माइट्स और टिक्स स्किन को परेशान कर सकते हैं और एनीमिया का कारण बन सकते हैं. ये परजीवी संक्रमण जूं या आंतों के कीड़ों के साथ इंसानी अनुभवों से मिलते जुलते हैं.

मेटाबोलिक बोन डिजीज ( MBD/ Metabolic Bone Disease )

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मेटाबोलिक बोन डिजीज ( MBD/ Metabolic Bone Disease )

एमबीडी यानी मेटाबोलिक बोन डिजीज एक पोषण संबंधी विकार है जो कैल्शियम या विटामिन डी3 की कमी की वजह से होता है, खास तौर पर खराब संतुलित आहार खिलाए गए बंदी सांपों में. इससे हड्डियां नरम या Distorted  हो जाती हैं, मांसपेशियों में कमज़ोरी आती है और रेंगने में कठिनाई होती है. यह बीमारी इंसानों में रिकेट्स या ऑस्टियोपोरोसिस जैसी ही है. यूवीबी प्रकाश (जिन प्रजातियों को इसकी ज़रूरत है) के बिना, एमबीडी दुर्बल करने वाला बन सकता है. इस दर्दनाक और अक्सर अपरिवर्तनीय स्थिति ( steady state conditions ) से बचने के लिए संतुलित पोषण और उचित देखभाल के जरिए से रोकथाम अहम है.

ट्यूमर और ऑर्गन फेलियर ( Tumors and Organ Failure )

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ट्यूमर और ऑर्गन फेलियर ( Tumors and Organ Failure )

इंसानो की तरह ही सांपों में भी सौम्य और घातक दोनों तरह के ट्यूमर विकसित हो सकते हैं. ये लीवर या किडनी जैसे अंगों को प्रभावित कर सकते हैं या स्किन के नीचे गांठ के रूप में दिखाई दे सकते हैं. हालांकि, सटीक कारण हमेशा साफ नहीं होते हैं, लेकिन उम्र, जेनेटिक्स और विषाक्त पदार्थों ( Toxic Substances ) के संपर्क में आने से संभावित कारक हो सकते हैं. सांपों में कैंसर के कारण अंग विफलता, भूख कम लगना और सूजन दिखाई दे सकती है. शुरुआती पहचान मुश्किल है, लेकिन नियमित हेल्थ चेकअप और व्यवहार में बदलाव की निगरानी करने की जरूरत पड़ती है.

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