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Nirjala Ekadashi 2022 Date Shubh Muhurat and do's don'ts: निर्जला एकादशी का व्रत बहुत अहम होता है. यह ज्येष्ठ मास के शुक्ल पक्ष की एकादशी तिथि को रखा जाता है. इसे साल की सभी 24 एकादशी में सर्वश्रेष्ठ माना गया है. इसे निर्जला एकादशी इसलिए कहते हैं क्योंकि इस व्रत में पानी पीना तक वर्जित होता है. मान्यता है कि यह निर्जला एकादशी व्रत करने से 24 एकादशी व्रत करने जितना पुण्य मिलता है. इस साल निर्जला एकादशी का व्रत 10 जून 2022, शुक्रवार को रखा जाएगा.
निर्जला एकादशी 10 जून, शुक्रवार को मनाई जाएगी. एकादशी तिथि 10 जून की सुबह 07:25 बजे शुरू होगी और 11जून की सुबह 05:45 बजे समाप्त होगी. व्रत का पारणा 11 जून की सुबह 05:49 बजे से 08:29 बजे के बीच किया जाएगा.
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एकादशी के दिन सुबह जल्दी स्नान करें. हो सके तो पीले रंग के कपड़े पहनें. सूर्य को अर्ध्य दें. फिर भगवान विष्णु की विधि-विधान से पूजा करें. उन्हें पीले फूल, हल्दी, चंदन, पंचामृत, तुलसी दल अर्पित करें. पूरे दिन निर्जला रहें. भले ही इस दिन व्रती के पानी पीने तक की मनाही होती है लेकिन उसके द्वारा जल का दान करना बहुत पुण्यदायी होता है. वहीं जो लोग निर्जला व्रत नहीं रख सकते हैं, वे बिना नमक का नींबू पानी, फल लें. इस पूरे दिन जितना ज्यादा हो सके भगवान विष्णु और माता लक्ष्मी के मंत्रों का जाप करें, इससे जीवन में अपार सुख-समृद्धि आएगी.
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निर्जला एकादशी के दिन दान का बड़ा महत्व है. यूं कहें कि यह व्रत बिना दान के पूरा नहीं होता है. बेहतर होगा कि निर्जला एकादशी के दिन जल से भरे पात्र का दान करें. इसके अलावा अनाज, कपड़ों, जूते, छाता, रसदार फल, ककड़ी आदि का भी दान कर सकते हैं.
(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. ZEE NEWS इसकी पुष्टि नहीं करता है.)