विदर्भ के रजनीश गुरबाणी को ''मैन ऑफ द मैच' दिया गया. रजनीश ने मैच में 151 रन देकर 8 विकेट लिए.
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नई दिल्ली: रणजी ट्रॉफी का 2017-18 का सीजन समाप्त हो गया. फैज फजल के नेतृत्व में विदर्भ की टीम ने सात बार की चैंपियन दिल्ली को हरा कर पहली बार इस ट्रॉफी पर कब्जा किया. विदर्भ ने सोमवार को दिल्ली को होल्कर स्टेडियम में नौ विकेट से हराते हुए पहली बार रणजी ट्रॉफी खिताब पर कब्जा किया. रणजी में पदार्पण कर रहे विदर्भ ने सात बार के चैम्पियन को चार दिनों में धूल चटा दी. विदर्भ को दिल्ली ने जीत के लिए 29 रनों का लक्ष्य दिया था, जिसे उसने पांच ओवरों में एक विकेट के नुकसान पर हासिल कर लिया. वसीम जाफर ने विजयी रन बनाकर नया इतिहास रचा. हालांकि, फाइनल मैच की एक घटना ने एक बार फिर 'जेंटलमैन्स गेम' कहे जाने वाले इस खेल पर सवालिया निशान लगा दिया.
इंस्टाग्राम पर एक वीडियो शेयर किया गया है. विदर्भ के एक बल्लेबाज को जबरदस्त बाउंसर फेंका गया. इस बाउंसर के बाद वह बल्लेबाज मैदान पर गिर पड़ा और दर्द से तड़पता रहा, लेकिन विपक्षी टीम को कोई खिलाड़ी उसके पास नहीं आया. केवल दूसरे छोर पर खड़े उसके पार्टनर ने ही उसकी मदद की और ड्रेसिंग रूम की तरफ इशारा करके मेडिकल मदद मांगी.
इस घटनाक्रम के बाद दिल्ली के खिलाड़ी बल्लेबाज के पास से गुजरे. बल्लेबाज अगले ओवर के लिए छोर बदल चुके थे. मजेदार बात यह थी कि मैदान में खड़े अंपायर ने भी चोटिल बल्लेबाज की मदद नहीं की. इस वीडियो को शेयर करते हुए लिखा गया- Sportsmanship?
इस वीडियो को शेयर करने के बाद यूजर्स के दिल्ली की आलोचना करने वाले कमेंट्स की बाढ़ आ गई. लोगों ने दिल्ली के खिलाड़ियों के व्यवहार और खेल भावना की कमी की जमकर आलोचना की. उन्होंने कहा कि ऋषभ पंत के नेतृत्व वाली दिल्ली की टीम को पूर्व भारतीय कप्तान महेंद्र सिंह धोनी से खेल भावना सीखनी चाहिए. इस बीच दिल्ली के ही गौतम गंभीर ने मैच के बाद विदर्भ को जीत की बधाई दी, जिन्होंने यह खिताब जीतने के लिए हर क्षेत्र में शानदार प्रदर्शन किया.
VIDEO : रणजी में 10 हजार से ज्यादा रन बनाने वाले खिलाड़ी ने पहली बार लगाया विजयी शॉट
विदर्भ के रजनीश गुरबाणी को ''मैन ऑफ द मैच' दिया गया. रजनीश ने मैच में 151 रन देकर 8 विकेट लिए. इस जीत के साथ ही विदर्भ रणजी ट्रॉफी जीतने वाली 18वीं टीम बन गई. गौरतलब है कि इस टूर्नामेंट की शुरुआत 1934-35 में हुई थी.
विदर्भ के कप्तान फजल ने मैच के बाद प्रेस कांफ्रेंस में कहा कि वह टीम के प्रयासों से संतुष्ट हैं. टीम ने यह खिताब जीतने के लिए कड़ी मेहनत की और उन्हें उनकी मेहनत का नतीजा खिताब के रूप में मिला.