टोक्यो: टोक्यो ओलंपिक में हॉकी के सेमीफाइनल मैच में बेल्जियम ने भारत को 5-2 से हराकर उसका फाइनल मैच खेलने का सपना तोड़ दिया. भारतीय टीम 41 साल बाद ओलंपिक में हॉकी का फाइनल मैच खेलने के करीब पहुंच रही थी, लेकिन बेल्जियम ने टीम इंडिया के इस सपने को पूरा नहीं होने दिया.


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ब्रॉन्ज मेडल की आस अब भी बाकी


भारतीय पुरुष हॉकी टीम फाइनल की रेस से बाहर हो गई है. उसे सेमीफाइनल में वर्ल्ड चैम्पियन बेल्जियम ने 5-2 से हराया. टीम इंडिया के पास अब भी मेडल जीतने का मौका है. भारतीय पुरुष हॉकी टीम अब ब्रॉन्ज मेडल के लिए खेलेगी. 


भारत ने सिल्वर मेडल पक्का करने का मौका गंवाया


भारतीय हॉकी टीम अगर ये मुकाबला जीत जाती तो है वह सिल्वर मेडल पक्का कर लेती, लेकिन ऐसा नहीं हुआ. टीम इंडिया ने आखिरी बार 1980 के ओलंपिक में गोल्ड मेडल जीता था.


एलेक्सजेंडर हेंडरिक्स की हैट्रिक ने पलटा मैच 


एलेक्सजेंडर हेंडरिक्स (19वें, 49वें, 53वें) की शानदार हैट्रिक के दम पर मौजूदा वर्ल्ड चैम्पियन बेल्जियम ने पुरुष हॉकी के सेमीफाइनल मुकाबले में भारत को 5-2 से हरा दिया. इस मैच में एक समय भारत 2-1 से आगे था, लेकिन इसके बाद वह बुरी तरह पिछड़ता चला गया और अंतत: 1980 के बाद पहला फाइनल खेलने से चूक गया. अब भारत को कांस्य के लिए प्रयास करना होगा. भारत का यह मैच किससे होगा, इसका फैसला जर्मनी और ऑस्ट्रेलिया के बीच होने वाले दूसरे सेमीफाइनल के बाद हो जाएगा.


हरमनप्रीत और मंदीप ने जगाई थी उम्मीद 


मैच का पहला गोल बेल्जियम की ओर से हुआ. यह गोल लोइक फेनी लुपर्ट ने दूसरे मिनट में हासिल पेनाल्टी कार्नर पर किया. मैच शुरु होने के साथ ही भारत पीछे हो चुका था. भारतीय टीम दबाव में थी, लेकिन इस दबाव से निकलकर सातवें मिनट में गोल कर हरमनप्रीत सिंह ने मैच में रोमांच ला लिया. हरमनप्रीत ने यह गोल पेनाल्टी कार्नर पर किया. अब स्कोर 1-1 हो चुका था. इसके बाद कप्तान मंदीप सिंह खुद मोर्चा सम्भाला और नौवें मिनट में एक बेहतरीन फील्ड गोल के जरिए भारत को 2-1 से आगे कर दिया.


बेल्जियम ने तेज किया हमला 


पहले ही क्वार्टर में पिछड़ने के बाद बेल्जियम ने बराबरी के लिए हमला तेज कर दिया. इस क्रम में उसे 19वें मिनट में सफलता मिली. एलेक्सजेंडर रॉबी हेंडरिक ने पेनाल्टी कॉर्नर पर गोल कर स्कोर 2-2 कर दिया. तीसरे क्वार्टर में कोई गोल नहीं हुआ. 


हेंडरिक्स ने पक्की कर दी बेल्जियम की जीत


चौथे क्वार्टर में बेल्जियम ने अचानक ही रफ्तार पकड़ी और 49वें मिनट में हासिल पेनाल्टी कार्नर पर हेंडरिक्स ने गोल कर 3-2 की लीड दिला दी. तीसरे क्वार्टर और चौथे क्वार्टर की शुरुआत तक बेल्जियम ने 7 पेनाल्टी कार्नर हासिल किए. अंतिम समय में भारत की रक्षापंक्ति में सेंध लग चुकी थी. बेल्जियम को लगातार पेनाल्टी कार्नर मिल रहे थे. इसी क्रम में उसने 53वें मिनट में पेनाल्टी स्ट्रोक हासिल किया, जिस पर गोल कर हेंडरिक्स ने अपनी टीम को 4-2 से आगे कर उसकी जीत पक्की कर दी. बेल्जियम की टीम इसके बाद भी नहीं रुकी और अंतिम मिनट में एक और गोल करते हुए 5-2 की लीड ले ली. बेल्जियम के लिए यह गोल डोमिनिक डॉहमैन ने 60वें मिनट में किया.


पीएम मोदी ने भी देखा मैच


प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भारत और बेल्जियम के बीच सेमीफाइनल मुकाबले को देख था. उन्होंने ट्वीट कर ये जानकारी दी थी.



भारत ने 1980 के मॉस्को ओलंपिक में गोल्ड मेडल जीता था


टीम इंडिया ने आखिरी बार 1980 के ओलंपिक में मेडल जीता था. इससे पहले मॉन्ट्रियल ओलंपिक (1972) में भारतीय टीम सेमीफाइनल में पहुंची थी. हालांकि भारतीय टीम ने 1980 के मॉस्को ओलंपिक में गोल्ड मेडल जीता था, लेकिन उस दौरान भारत छह टीमों के पूल में दूसरे स्थान पर रहकर फाइनल का टिकट हासिल किया था.   


टोक्यो ओलंपिक में भारतीय टीम के पास पदक जीतने का मौका


ओलंपिक में भारत को आखिरी पदक 1980 में मॉस्को में मिला था, जब वासुदेवन भास्करन की कप्तानी में टीम ने गोल्ड मेडल जीता था. उसके बाद से भारतीय हॉकी टीम के प्रदर्शन में लगातार गिरावट आई और 1984 लॉस एंजेलिस ओलंपिक में पांचवें स्थान पर रहने के बाद वह इससे बेहतर नहीं कर सकी.