DNA ANALYSIS: स्पेस टूरिज्म की नई रेस, जानिए जेफ बेजोस की अंतरिक्ष यात्रा क्यों थी सबसे खास
Advertisement

DNA ANALYSIS: स्पेस टूरिज्म की नई रेस, जानिए जेफ बेजोस की अंतरिक्ष यात्रा क्यों थी सबसे खास

स्पेस टूरिज्म के क्षेत्र में जेफ बेजोस, रिचर्ड ब्रैनसन के बाद दूसरे खिलाड़ी बन गए हैं  और अंतरिक्ष की यात्रा कराने की रेस में फिलहाल जेफ बेजोस ने रिचर्ड ब्रैनसन को पीछे छोड़ दिया है.

DNA ANALYSIS: स्पेस टूरिज्म की नई रेस, जानिए जेफ बेजोस की अंतरिक्ष यात्रा क्यों थी सबसे खास

नई दिल्ली: अब हम आपको अंतरिक्ष की एक ऐसी यात्रा पर लेकर चलते हैं, जहां आप भविष्य में छुट्टियां मनाने के लिए भी जा सकेंगे. ब्रिटेन के उद्योगपति रिचर्ड ब्रैनसन के बाद 20 जुलाई को अमेरिका के उद्योगपति जेफ बेजोस भी अपनी कंपनी के अंतरिक्ष यान से अंतरिक्ष की सैर करके वापस पृथ्वी पर लौट आए हैं.

  1. अंतरिक्ष यात्रा की खासियत ये थी कि इसमें कोई पायलट नहीं था.
  2. ये फ्लाइट पूरी तरह से ऑटोमैटेड थी.
  3. इसे पृथ्वी पर मौजूद कमांड सेंटर से कंट्रोल किया गया.

ब्रैनसन के बाद जेफ बेजोस स्पेस के नए बॉस

स्पेस टूरिज्म के क्षेत्र में जेफ बेजोस, रिचर्ड ब्रैनसन के बाद दूसरे खिलाड़ी बन गए हैं. जेफ बेजोस की स्पेस कंपनी द्वारा बनाए गए इस स्पेस क्राफ्ट में उनके साथ उनके भाई मार्क, 82 वर्ष की पूर्व पायलट वैली फंक और 18 वर्ष का एक छात्र भी सवार था, जिसका नाम ओलिवर है. ये पूरी यात्रा 10 मिनट की थी.

अंतरिक्ष यात्रा की सबसे खास बात

इस अंतरिक्ष यात्रा की खासियत ये थी कि इसमें कोई पायलट नहीं था यानी ये फ्लाइट पूरी तरह से ऑटोमैटेड थी. जिसे पृथ्वी पर मौजूद कमांड सेंटर से कंट्रोल किया गया. यानी सड़कों पर बिना ड्राइवर की गाड़ियों का सपना भले ही अब भी दूर हो, लेकिन अंतरिक्ष में बिना पायलट के उड़ान भरना संभव हो गया है. जिस तरह से कहीं घूमने जाने के लिए आप कार या हवाई जहाज से यात्रा करते हैं. ठीक उसी तरह से आप अंतरिक्ष की यात्रा इसी तरह के स्पेस फ्लाइट से कर सकेंगे. अंतरिक्ष की यात्रा कराने की रेस में फिलहाल जेफ बेजोस ने रिचर्ड ब्रैनसन को पीछे छोड़ दिया है.

Trending news