व्हाइट हाउस में नई अंतरिक्ष नीति निर्देशों पर हस्ताक्षर करते हुए ट्रंप ने कहा, ''इस बार हम वहां सिर्फ अपना झंडा लगाकर अपना निशान नहीं छोड़ेंगे. इस कदम से अंतत: हम मंगल मिशन, और भविष्य में अन्य ग्रहों की यात्रा के लिए नींव रख रहे हैं.''
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वाशिंगटन: अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने अंतरिक्ष एजेंसी नासा को निर्देश दिया है कि एजेंसी कई दशकों में पहली बार अमेरिकी नागरिकों को चांद पर भेजे. राष्ट्रपति का कहना है कि इस कदम से भविष्य में मंगल ग्रह की यात्राओं की तैयारी होगी. पिछले कई दशकों से चांद पर किसी अमेरिकी को नहीं भेजा गया है और यह नीति अमेरिकी अंतरिक्ष यात्रियों को फिर से वहां भेजने की दिशा में पहल है.
व्हाइट हाउस में नई अंतरिक्ष नीति निर्देशों पर हस्ताक्षर करते हुए ट्रंप ने कहा, ''इस बार हम वहां सिर्फ अपना झंडा लगाकर अपना निशान नहीं छोड़ेंगे. इस कदम से अंतत: हम मंगल मिशन, और भविष्य में अन्य ग्रहों की यात्रा के लिए नींव रख रहे हैं.'' 21 जुलाई, 1969 को अमेरिकी अंतरिक्ष यात्री नील आर्मस्ट्रांग ने चांद पर पहला कदम रखा था.
व्हाइट हाउस में ट्रंप ने कहा, ''मैं जिस दिशा निर्देश पर हस्ताक्षर कर रहा हूं वह अमेरिकी अंतरिक्ष कार्यक्रम के मनुष्यों के जरिए अन्वेषण और खोज पर बल देगा. यह 1972 के बाद पहली बार अमेरिकी अंतरिक्ष यात्रियों के लंबे समय के लिए चांद पर जाने और खोज करने का महत्वपूर्ण कदम होगा.'' इससे पहले अपोलो मिशन के दौरान 1960 और 1970 की दशक में अमेरिकी अंतरिक्ष यात्री चांद पर गये थे.
उन्होंने कहा, इस कदम से ''अंतत: हम मंगल मिशन, और भविष्य में अन्य ग्रहों की यात्रा के लिए नींव रख रहे हैं.'' इससे पहले राष्ट्रीय अंतरिक्ष परिषद के प्रमुखों राष्ट्रपति ट्रंप और उपराष्ट्रपति माइक पेन्स ने चांद पर फिर से अंतरिक्ष यान भेजने की बात कही थी, लेकिन उन्होंने इस संबंध में कुछ खास जानकारी नहीं दी थी.
(एजेंसी: एएफपी)