कोरोना: WHO की टीम के दौरे से पहले, वुहान से सबूत मिटाने के लिए चीन ने चली यह चाल!
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कोरोना: WHO की टीम के दौरे से पहले, वुहान से सबूत मिटाने के लिए चीन ने चली यह चाल!

कोरोना वायरस (Corona Virus) का केंद्र रहा चीन का वुहान (Wuhan) अब बाढ़ से जूझ रहा है. पिछले कई दिनों से यहां लगातार बारिश हो रही है, जिसके चलते जन-जीवन पूरी तरह थम गया है.  

वुहान में भारी बारिश के चलते बाढ़ आ गई है. फोटो: AFP

वुहान: कोरोना वायरस (Corona Virus) का केंद्र रहा चीन का वुहान (Wuhan) अब बाढ़ से जूझ रहा है. पिछले कई दिनों से यहां लगातार बारिश हो रही है, जिसके चलते जन-जीवन पूरी तरह थम गया है. 23 जनवरी को यहां COVID-19 का पहला मामला सामने आया था, जिसके बाद इस वायरस ने पूरी दुनिया को अपनी चपेट में ले लिया. भारी बारिश को देखते हुए नागरिकों को घरों में रहने के लिए कहा गया है. 

बाढ़ में अब तक आठ लोगों की मौत हो चुकी है और आने वाले दिनों में स्थिति बेहद खराब हो सकती है. क्योंकि मौसम विभाग ने अगले 31 दिनों तक भारी बारिश की आशंका जताई है. हालांकि, क्या बाढ़ प्राकृतिक है है? इसे लेकर अब चर्चा शुरू हो गई है. कुछ लोगों का दावा है कि चीन ने कोरोना उत्पत्ति और प्रसार से जुड़े सभी सबूत मिटाने के लिए यह चाल चली है.

रिपोर्ट बताती हैं कि वुहान से 368 किलोमीटर दूर यिलिंग जिले (Yiling) के थ्री गोरजेस डैम (Three Gorges Dam) से पानी छोड़ा जा रहा है. चीन के अधिकारियों के अनुसार, बांध टूटने की कगार पर है, जिसकी वजह से मजबूरन पानी छोड़ा जा रहा है. वहीं, कुछ चीनी एक्टिविस्ट का दावा है कि पानी जानबूझकर छोड़ा जा रहा है.

एक्टिविस्ट जेनिफर जेंग (Jennifer Zeng) ने हाल ही में दावा किया कि यह कदम जानबूझकर उठाया गया है, और चीनी अधिकारी सोची-समझी रणनीति के तहत ऐसा कर रहे हैं, ताकि कोरोना महामारी में चीन की भूमिका से जुड़े सभी सबूतों को नष्ट किया जा सके. दरअसल, अगले हफ्ते विश्व स्वास्थ्य संगठन (WHO) की एक टीम वुहान जाने वाली है, जो यह जांच करेगी कि आखिरी वायरस जानवरों से मनुष्य में कैसे पहुंचा. लिहाजा यह माना जा रहा है कि चीन उससे पहले बचे सभी सबूत मिटा देना चाहता है और इसके लिए वह नकली बाढ़ का सहारा ले रहा है.

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