भारत की तारीफों से बिफरा चीन, कहा- बीजिंग के खिलाफ अमेरिका पक्षपात खत्म करे
Advertisement

भारत की तारीफों से बिफरा चीन, कहा- बीजिंग के खिलाफ अमेरिका पक्षपात खत्म करे

भारत के अपने दौरे से पहले टिलरसन ने कहा था, ‘‘अनिश्चितता और चिंता के इस दौर में भारत को विश्व स्तर पर एक भरोसेमंद साझेदार की जरूरत है.''

अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप (बाएं) और चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग. (फाइल फोटो)

बीजिंग: चीन ने कहा है कि अमेरिकी विदेश मंत्री रेक्स टिलरसन की ओर से भारत के साथ संबंधों को प्रगाढ़ बनाने पर जोर देने और बीजिंग की आलोचना करने में पक्षपात की बू आती है. भारत के अपने दौरे से पहले टिलरसन ने कहा था, ‘‘अनिश्चितता और चिंता के इस दौर में भारत को विश्व स्तर पर एक भरोसेमंद साझेदार की जरूरत है. मैं स्पष्ट करना चाहता हूं कि वैश्विक स्थिरता, शांति और समृद्धि को लेकर हमारे साझा मूल्य एवं नजरिये को देखते हुए अमेरिका ही वह साझेदार है.’’ चीनी विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता लू कांग ने गुरुवार (19 अक्टूबर) को संवाददाताओं से कहा कि बहुत सारे मीडिया की भारत और अमेरिका के बीच संबंधों के विकास में काफी दिलचस्पी है. उन्होंने कहा, ‘‘हम दोनों देशों के बीच संबंधों के विकास को देखकर तब तक खुश हैं जब तक वे क्षेत्र के शांतिपूर्ण विकास और क्षेत्र के देशों के बीच रिश्तों के बढ़ने के पक्ष में हैं.’’ लू ने कहा कि चीन आशा करता है कि वॉशिंगटन चीन के विकास और अंतरराष्ट्रीय समुदाय में चीन की भूमिका को निष्पक्ष ढंग से देखेगा.

  1. कांग ने उम्मीद जताई कि वॉशिंगटन चीन के विकास और अंतरराष्ट्रीय समुदाय में चीन की भूमिका को निष्पक्ष ढंग से देखेगा.
  2. कांग ने कहा कि बहुत सारे मीडिया की भारत और अमेरिका के बीच संबंधों के विकास में काफी दिलचस्पी है.
  3. टिलरसन ने अपने भाषण में अमेरिका को भारत का भरोसेमंद साझेदार बताया था, जबकि चीन की आलोचना की थी.

टिलरसन ने अमेरिका को बताया भारत का भरोसेमंद साझेदार, चीन को लिया आड़े हाथ

इससे पहले अमेरिकी विदेश मंत्री रेक्स टिलरसन ने बुधवार (18 अक्टूबर) को कहा कि अमेरिका अनिश्चितता और चिंता के इस दौर में विश्व मंच पर भारत का भरोसेमंद साझेदार है. इसी के साथ उन्होंने इस क्षेत्र में चीन के भड़काऊ कृत्यों के बीच अमेरिका के भारत के साथ खड़ा होने का मजबूत संकेत दिया है. टिलरसन ने एक महत्वपूर्ण भारत नीति भाषण में चीन के उदय का उल्लेख किया और कहा कि उसके आचरण एवं कृत्य से सिद्धांतों पर आधारित अंतरराष्ट्रीय सीमा के लिए चुनौती पैदा हो रही है. यह ट्रंप प्रशासन का पहला बड़ा भारत नीति व्याख्यान है.

अगले हफ्ते बतौर विदेश मंत्री हो रही अपनी पहली भारत यात्रा से पहले टिलरसन ने कहा, ‘भारत के साथ उभर रहे चीन ने बहुत कम जिम्मेदाराना ढंग से बर्ताव किया है, कई बार उसने अंतरराष्ट्रीय, सिद्धांत आधारित सीमा को धता बताया जबकि भारत जैसे देश एक ऐसे ढांचे के तहत बर्ताव करते हैं जो दूसरे देशों की संप्रभुता की रक्षा करता है.’ उन्होंने कहा, ‘दक्षिण चीन सागर में चीन के भड़काऊ कृत्य से सीधे अंतरराष्ट्रीय कानून और सिद्धांतों को चुनौती मिली, जबकि अमेरिका और भारत दोनों ही उसके पक्ष में खड़े रहते हैं.’

Trending news