अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप पिछले दिनों इराक के लड़ाकू क्षेत्र अल-असद एयर बेस कैंप पहुंचे.
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नई दिल्लीः डोनाल्ड ट्रंप ने बुधवार को सभी को चौंकाते हुए इराक स्थित अमेरिकी एयर बेस का दौरा किया, इस दौरान उनकी पत्नी मेलानिया ट्रंप भी साथ में थीं. वहां उन्होंने न सिर्फ वहां मौजूद सैनिकों से मुलाकात की बल्कि उनके साथ फोटो भी खिंचवाए और सोशल मीडिया पर पोस्ट भी कर दिया. इस दौरान डोनाल्ड ट्रंप ने कहा कि उनकी नीति अमेरिका फर्स्ट की है. उनके इस दौरे के बाद इस पर चर्चाएं शुरू हो गई हैं. हालांकि इस दौरान आलोचक उनकी एक गलती की तरफ भी इशारा कर रहे हैं.
दरअसल राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप जिस बेस कैंप में पहुंचे थे वह इराक की राजधानी बगदाद से सिर्फ 60 किलोमीटर की दूर स्थित है. अपने ट्विटर एकाउंट पर फोटो पोस्ट करते हुए उन्होंने इस जानकारी को सार्वजनिक करते हुए लिखा कि 'मेलानिया और मुझे इराक में अल असद एयर बेस कैंप पर हमारे अविश्वसनीय सैनिकों से मुलाकात का सौभाग्य मिला. भगवान यूएसए का भला करे.!'
.@FLOTUS Melania and I were honored to visit our incredible troops at Al Asad Air Base in Iraq. GOD BLESS THE U.S.A.! pic.twitter.com/rDlhITDvm1
— Donald J. Trump (@realDonaldTrump) December 26, 2018
ट्रंप के इस दौरे से कई तरह की नई आशंकाओं ने जन्म लिया है. ऐसा इसलिए क्योंकि अमेरिकी राष्ट्रपति का यह दौरा ऐसे समय में हुआ है, जबकि ट्रंप प्रशासन ने पिछले दिनों ही सीरिया और अफगानिस्तान से अमेरिकी सैनिकों को वापस बुलाने का ऐलान कर पूरी दुनिया को हैरान कर दिया था. इस कारण सीरिया से सटे इराक के ट्रंप के दौरे से नई अटकलों को हवा मिली है. इसकी बड़ी वजह यह भी है कि इस अचानक दौरे की जानकारी ट्रंप ने किसी को नहीं दी थी. यह अमेरिकी राष्ट्रपति का पहला इराक दौरा रहा, लेकिन इस बीच उन्होंने यहां किसी भी इराकी अधिकारी से मुलाकात नहीं की
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उल्लेखनीय है कि अपने दौरे के दौरान ट्रंप ने अमेरिकी सेना की उच्च कोटि की फोर्स नेवी सील्स के सैनिकों से भी मुलाकात की और साथ ही उनकी स्थिति का जायजा भी लिया. इस दौरान ट्रंप ने पत्रकारों को संबोधित करते हुए कहा कि अमेरिकी सैनिक अमेरिका की रक्षा के लिए है न कि पूरी दुनिया के लिए. उन्होंने यह भी कहा कि अमेरिका ने पश्चिम एशिया की सुरक्षा की जिम्मेदारी नहीं ले रखी है.