नई दिल्ली: भारत और पाकिस्तान के बीच लगातार तनाव बढता जा रहा है. ऐसे में दोनों ही देश एक दूसरे पर हमला करने का कोई मौका हाथ से नहीं जाने दे रहे. बीते बुधवार को भारत की ओर पाकिस्तान पर किए 'ऑपरेशन सिंदूर' के बाद पाकिस्तान की ओर से भी बदला लेने की कोशिशें शुरू हो चुकी हैं. ऐसे में अब भारत खुद को और मजबूत करते हुए स्पेस में सैटेलाइट्स लॉन्च करने जा रहा है. बता दें कि भारत एक या दो नहीं, बल्कि 50 सैटेलाइट्स लॉन्च करने की योजना बना रहा है.
भारत रखेगा दुश्मन पर पैनी नजर
इन सैटेलाइट्स की मदद से आसमान से ही दुश्मनों पर पैनी निगाह रखने में मदद मिलेगी. इंडियन नेशनल स्पेस प्रमोशन और ऑथराइजेशन सेंटर (इन-स्पेस) के अध्यक्ष पवन कुमार गोयनका ने बुधवार को बताया कि अगले 5 सालों में भारत अंतरिक्ष बेस्ड सर्विलांस ताकतों को बढ़ाने के लिए 52 सैटेलाइट्स एक ग्रुप ऑर्विट में स्थापित करने जा रहा है. उन्होंने साथ ही बताया कि इस एक कदम की वजह से निजी क्षेत्रों में एक मजबूत भागीदारी नजर आएगी.
रक्षा क्षेत्र की निगरानी बढ़ाना उद्देश्य
गोयनका ने वैश्विक अंतरिक्ष अन्वेषण सम्मेलन 2025 के मौके पर कहा, 'हमारे पास पहले ही काफी मजबूत क्षमताएं हैं. बस इनमें निरंतर वृद्धि की जरूरत है.' उन्होंने आगे कहा कि इस योजना का बनाने का उद्देश्य केवल रक्षा क्षेत्र की निगरानी को बढ़ाना है. गोयनका ने बताया कि आज तक इस काम को खासतौर पर इसरो करता आया है. इसमें उन्होंने निजी क्षेत्र को भी शामिल करने की बात कही है.
इसरो करेगा निर्माण
उन्होंने अपनी बात पूरी करते हुए कहा कि ये उपग्रह सेना, वायुसेना और नौसेना के लिए दुश्मन की हर गतिविधि पर नजर रखने, सीमाओं की निगरानी करने और अन्य सैनिक अभियानों के दौरान तात्कालिक सुधार लाने में मदद करेंगे. गोयनका ने बताया, 'इन 52 उपग्रहों में से आधे निजी क्षेत्र में ही निर्मित होंगे, जबकि अन्य उपग्रहों का निर्माण इसरो करेगा.' इसी के साथ उन्होंने यह भी साफ कर दिया है कि निगरानी की क्षमताओं को बढ़ाने का निर्णय रक्षा बल और केंद्रीय गृह मंत्रालय ही लेंगे.
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