रतन टाटा के लिए शुभ नहीं समाचार - टाटा संस बनेगी पब्लिक कम्पनी

देश के सर्वोच्च औद्योगिक घरानों में एक टाटा ग्रुप के चेयरमैन के लिए ये अच्छी खबर नहीं कही जा सकती, जो भी हो, रतन टाटा चुप नहीं बैठने वाले..  

Written by - Zee Hindustan Web Team | Last Updated : Dec 21, 2019, 08:39 PM IST
    • टाटा को लगा लगातार दूसरा झटका
    • कंपनी नियंत्रक न्यायाधिकरण ने सुनाया फैसला
    • टाटा संस को प्राइवेट कंपनी में बदलने के कदम को अवैध पाया
    • ''टाटा संस में कपनी एक्ट के प्रावधानों का पालन नहीं हुआ''
    • साइरस मिस्त्री को लेकर लगा था पहला झटका
    • पहले मिस्त्री को फिर से चेयरमैन बनाने का आदेश जारी किया था
रतन टाटा के लिए शुभ नहीं समाचार - टाटा संस बनेगी पब्लिक कम्पनी

नई दिल्ली. मिनिस्ट्री ऑफ़ कॉर्पोरेट अफेयर्स से आई ये खबर टाटा ग्रुप के लिए सुसमाचार किसी भी तरह नहीं है. टाटा ग्रुप ऑफ़ कम्पनीज की होल्डिंग कम्पनी टाटा संस, जिसके नाम ग्रुप के ढेर सारे शेयर्स हैं, अब पब्लिक कम्पनी में तब्दील की जायेगी, ये जानकारी आई है रजिस्ट्रार ऑफ़ कम्पनीज़ से.

टाटा को लगातार दूसरा झटका 

यह टाटा ग्रुप के लिए लगातार दूसरा झटका है जिसके अनुसार रजिस्ट्रार ऑफ़ कम्पनीज़ टाटा ग्रुप की बड़ी हिस्सेदार टाटा संस को 'पब्लिक कंपनी' बनाने का फैसला ले चुकी है. नेशनल कम्पनी लॉ अपीलेट  ट्रिब्यूनल (NCLAT) के हालिया आदेश के अंतर्गत टाटा संस का मूल स्टेटस बदला जाएगा और अब यह एक प्राइवेट कंपनी न हो कर पब्लिक कंपनी में तब्दील की जायेगी.

एनसीएलएटी के फरमान की वजह 

कंपनी नियंत्रक न्यायाधिकरण इकाई एनसीएलएटी के इस आदेश का कारण ये है कि कम्पनी ने अपनी जांच में टाटा संस को प्राइवेट कंपनी में बदलने के कदम को अवैध पाया था. 

साइरस मिस्त्री को लेकर लगा था पहला झटका 

टाटा ग्रुप को इससे पहले NCALT ने ऐसा ही एक बड़ा झटका दिया था जिसमें अपीलेट ने साइरस मिस्त्री को टाटा संस के चेयरमैन पद से हटाने के रतन टाटा के फैसले को अवैध करार दिया था और मिस्त्री को फिर से चेयरमैन बनाने का आदेश जारी किया था.

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''टाटा संस में कपनी एक्ट के प्रावधानों का पालन नहीं हुआ''

रजिस्ट्रार ऑफ़ कम्पनीज़ (RoC) ने टाटा संस को प्राइवेट कम्पनी बनाना इस आधार पर अवैध ठहराया कि अपीलेट ट्रिब्यूनल ने अपनी पड़ताल में पाया था कि टाटा संस के मामले में कंपनीज ऐक्ट 2013 के सेक्शन 14 के प्रावधानों का उललंघन किया गया है. अब इसका व्यवहारिक अर्थ ये होगा कि जल्द ही टाटा संस प्राइवेट कम्पनी से बदल कर एक पब्लिक कम्पनी के रूप में काम करेगी. 

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