नई दिल्लीः अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप का भारत दौरा सुर्खियों में हैं. वह अहमदाबाद के बाद ताज का भी दीदार कर आए हैं और अब राजधानी दिल्ली पहुंचे हैं. इसी बीच भारतीय राजनीति का आंतरिक विरोध भी सामने आने लगा है. दरअसल राष्ट्रपति रामनाथ कोविंद ने अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के सम्मान में मंगलवार को रात्रिभोज का आयोजन किया है.
इस भोज में पूर्व प्रधानमंत्री डॉ मनमोहन सिंह, कांग्रेस संसदीय दल के नेता अधीर रंजन और राज्यसभा में विपक्ष के नेता गुलाम नबी आजाद को भी न्योता दिया गया है. लेकिन सभी नेताओं ने इस भोज में आने से मना कर दिया है. यानी कि राष्ट्रपति ट्रंप के सम्मान में आयोजित भोज में कांग्रेस का कोई नेता शामिल नहीं होगा.
अंतरिम अध्यक्ष सोनिया गांधी को आमंत्रण न मिलने से नाराज?
हालांकि शुरुआत में डॉ. मनमोहन सिंह और गुलाम नबी आजाद के इस भोज में शामिल होने की बात कही गई थी लेकिन सोमवार को शाम होते-होते दोनों ने शामिल होने से इनकार कर दिया. उन्होंने अपने खराब स्वास्थ्य का हवाला देते हुए निमंत्रण अस्वीकार किया है.
Sources: Former Prime Minister Manmohan Singh and Leader of Opposition in Rajya Sabha, Ghulam Nabi Azad will not attend the dinner banquet at the Rashtrapati Bhavan tomorrow. (file pics) pic.twitter.com/tz6Xh8uha1
— ANI (@ANI) February 24, 2020
लोकसभा में कांग्रेस संसदीय दल के नेता अधीर रंजन ने पहले ही रात्रिभोज में जाने से मना कर दिया था. कयास लगाए जा रहे हैं कि सभी नेता, यूपीए चेयरपर्सन और कांग्रेस की अंतरिम अध्यक्ष सोनिया गांधी को न्योता नहीं दिए जाने से नाराज हैं.
गुलाम नबी आजाद ने स्पष्ट किया है कि जब यूपीए चेयरपर्सन सोनिया गांधी को भोज में शामिल होने का न्योता नहीं मिला है तो उनके आने का सवाल ही नहीं उठता है.
अधीर रंजन भी नहीं होंगे शामिल
वहीं अधीर रंजन का मानना है कि सबसे बड़ी विपक्षी पार्टी की नेता सोनिया गांधी को रात्रिभोज का न्योता दिया जाना चाहिए था. उन्होंने कहा कि ये उस पुरानी परंपरा से हटना है जिसमें विपक्षी दलों के वरिष्ठ नेताओं को आमंत्रित किया जाता रहा है.
राष्ट्रपति की ओर से दिए जाने वाले इस आधिकारिक भोज में चुनिंदा हस्तियों को न्योता दिया गया है, जिनमें डॉ मनमोहन सिंह भी शामिल हैं. कांग्रेस के सूत्रों के मुताबिक, राज्यसभा में विपक्ष के नेता गुलाम नबी आजाद के भी रात्रिभोज में हिस्सा लेने की संभावना थी, लेकिन उनकी ओर से बयान आने के बाद स्थिति स्पष्ट है.
इस भोज में उपराष्ट्रपति वैंकेया नायडू, प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, लोकसभा अध्यक्ष ओम बिड़ला और केंद्रीय मंत्रिमंडल के सदस्यों को आमंत्रित किया गया है. इसके अलावा, भोज में राज्यसभा और लोकसभा में विपक्ष के नेताओं को भी आमंत्रित किया गया है.