इजरायल फिर दिखा सकता है पेजर ब्लास्ट जैसा मंजर, क्या इस बार Mobile, AC या TV बनेंगे बम?

Iran Vs Israel War latest update: इजरायल और ईरान के बीच चल रहे भीषण युद्ध में दोनों देशों ने एक-दूसरे पर भारी हमले किए हैं. इजरायल की तकनीक और मोसाद की खुफिया ताकत ने ईरान में मोबाइल ट्रैकिंग से हमले किए. 2024 में लेबनान में पेजर ब्लास्ट जैसे ऑपरेशन से इजरायल ने अपना लोहा मनवाया था.    

Written by - Ronak Bhaira | Last Updated : Jun 20, 2025, 08:32 AM IST
  • हथियारों की टेक्नोलॉजी के मामले में इजरायल आगे
  • लेबनान में पिछले साल कर चुका है पेजर ब्लास्ट
इजरायल फिर दिखा सकता है पेजर ब्लास्ट जैसा मंजर, क्या इस बार Mobile, AC या TV बनेंगे बम?

Iran Vs Israel War latest update: इजरायल और ईरान के बीच भीषण युद्ध जारी है. ईरान ने इजरायल पर बैलिस्टिक मिसाइलों से कई हमले किए हैं, इससे बेंजामिन नेतन्याहू के देश का भारी नुकसान हुआ है. हालांकि, इजरायल ने भी ईरान में तबाही मचाने में कोई कसर नहीं छोड़ी. इजरायल के मुकाबले ईरान का अधिक नुकसान हुआ है. लेकिन कुछ रिपोर्ट्स में ऐसे भी लगाए जा रहे हैं कि इजरायल किसी तकनीक का इस्तेमाल कर ईरान में भारी तबाही मचा सकता है.

मोबाइल, एसी या टीवी मचाएंगे तबाही? 
इजरायल हथियारों की टेक्नोलॉजी के मामले में कई बड़े देशों से भी आगे है. वह दुश्मन को घर बैठे-बैठे कैसी हाई-टेक्नोलॉजी की मदद से टारगेट बना सकता है. इजरायल की सुरक्षा और खुफिया एजेंसी MOSSAD के पास इतनी ताकत है कि वह ईरान में मोबाइल, एसी, रिमोट या टीवी से भी भारी तबाही मचा सकती है.

मोबाइल ट्रैकिंग टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल कर चुका इजरायल
इजरायल द्वारा ईरान पर किए गए पहले अटैक के पीछे भी टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल हुआ था. इस हमले में ईरान के परमाणु वैज्ञानिकों और बड़े-बड़े सैन्य अधिकारियों को मारा गया था. ये हमला इतना सटीक बताया जाता है कि सीधे टारगेट को बेडरूम में ही मारा गया, मगर पूरी बिल्डिंग को नुकसान नहीं हुआ. ईरान की IRGC से जुड़ी फार्स न्यूज की रिपोर्ट बताती है कि इन हमलों में इजरायल ने मोबाइल ट्रैकिंग टेक्नोलॉजी का इस्तेमाल किया. इससे उनके पास टारगेट की रियल-टाइम इन्फो आई.

दुनिया अब तक नहीं भूली पेजर ब्लास्ट
इससे पहले इजरायल ने साल 2024 में लेबनान में भारी तबाही मचाई थी. तब हिजबुल्लाह के लड़ाकों के पेजर ही ब्लास्ट हो गए थे, इसमें बड़ी संख्या में लोग मारे गए थे. इस ऑपरेशन को मोसाद ने ही लीड किया था. ये हमला भी इजरायल ने टेक्नोलॉजी के दम पर किया, इसके पीछे लंबी प्लानिंग हुई थी. हिजबुल्लाह को भी भनक नहीं थी कि ऐसी भारी तबाही मचने वाली है.

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