लंदन: दक्षिण अफ्रीका में ओमिक्रॉन की गढ़ बने गौतेंग से अच्छे संकेत मिले हैं. दक्षिण अफ्रीका के इस वुहान में अब कोरोना संक्रमण के नए केस में बढ़ोतरी नहीं हो रही है. वैज्ञानिकों का कहना है कि चूंकि ज्यादातर लोगों के शरीर में टी सेल का स्तर अच्छा है इसलिए अस्पताल में भर्ती कम हो रही है. वहीं वैज्ञानिकों ने सरकार की प्रशंसा की है कि लॉकडाउन नहीं लगाया गया.
दक्षिण से आए इस सकारात्मक संदेश से भारत समेत दुनिया भर के देशों को राहत मिल सकती है जहां बड़ी संख्या में आबादी का टीकाकरण हो चुका है. टीकाकरण होने से लोगों के शरीर में टी सेल का स्तर ठीक रहेगा और संक्रमण मारक नहीं हो पाएगा. इससे लॉकडाउन लगाने की जरूरत नहीं पड़ेगी.
दक्षिण अफ्रीका में रविवार को 17,154 कोविड संक्रमण केस दर्ज किए गए. इससे पहले गुरुवार को 22,391 मामलों का पता चला था. यानी कोरोना केस कम हो रहे हैं. कोविड के मामले के केंद्र गौतेंग में भी केस समतल होते दिख रहे हैं.
नए वेरिएंट के जोखिम का विश्लेषण
जोहान्सबर्ग में विटवाटरसैंड विश्वविद्यालय में वैक्सीनोलॉजी के प्रोफेसर शब्बीर माधी ने दक्षिण अफ्रीका की कोविड -19 स्थिति और ओमाइक्रोन संस्करण के जोखिम का आशावादी विश्लेषण दिया. दक्षिण अफ्रीका के ओमिक्रॉन के प्रकोप के कारण अस्पताल में भर्ती होने की संख्या इसकी डेल्टा लहर की तुलना में आनुपातिक रूप से कम रही है जिससे यह अनुमान लगाया जा रहा है कि यह वायरस का एक हल्का स्ट्रेन है.
ये भी पढ़ें- WHO की घोषणा से पहले इस देश के नालों के पानी में मिला था Omicron Variant
ट्विटर पर उन्होंने कहा कि संक्रमण दर देश की पिछली तीन लहरों में की तुलना में बहुत तेज थी, लेकिन कहा कि ऐसे संकेत थे कि अस्पताल में भर्ती होने वाले मामलों की संख्या के सापेक्ष कम रह गए थे. उन्होंने लिखा, 'पुनरुत्थान में तीन सप्ताह, कई वयस्क और बच्चे अस्पताल में SARS-CoV-2 का टेस्ट करवा रहे हैं, लेकिन सामुदायिक मामले की दर के सापेक्ष COVID अस्पताल में भर्ती कम है. पिछली लहरों की तुलना में मृत्युदर भी काफी कम है. प्रोफेसर माधी ने कहा कि ओमिक्रॉन संस्करण के प्रकोप के साथ घबराए नहीं.
ब्रिटेन के विशेषज्ञ कर रहे आगाह
हालांकि विशेषज्ञ आगाह करते हैं कि यह युवा लोगों के संक्रमित होने या इस तथ्य के कारण हो सकता है कि जोहान्सबर्ग क्षेत्र में 76 प्रतिशत आबादी पहले कोविड से संक्रमित हो चुकी है. ब्रिटिश सरकार को सलाह देने वाले वैज्ञानिकों ने कहा है कि अगले पांच महीनों में इंग्लैंड में 25,000 से 75,000 लोगों की मौत के कारण ओमिक्रॉन को रोकने के लिए सख्त कोविड प्रतिबंधों की आवश्यकता हो सकती है.
ये भी पढ़ें- सांस में 'कोरोना वायरस' आते ही चमकने लगेगा आपका मास्क, जानें इसके फायदे
Zee Hindustan News App: देश-दुनिया, बॉलीवुड, बिज़नेस, ज्योतिष, धर्म-कर्म, खेल और गैजेट्स की दुनिया की सभी खबरें अपने मोबाइल पर पढ़ने के लिए डाउनलोड करें ज़ी हिंदुस्तान न्यूज़ ऐप.