Gyanvapi Masjid सर्वे मामले में हिंदू पक्ष को बड़ा झटका, जानें हाईकोर्ट ने क्यों ठुकरा दी अर्जी
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Gyanvapi Masjid सर्वे मामले में हिंदू पक्ष को बड़ा झटका, जानें हाईकोर्ट ने क्यों ठुकरा दी अर्जी

Gyanvapi Masjid: इलाहाबाद हाईकोर्ट ने ज्ञानवापी मस्जिद परिसर के अंदर वुजुखाना क्षेत्र के एएसआई सर्वे की इजाजत देने से इनकार करने वाले वाराणसी अदालत के फैसले को चुनौती देने वाली याचिका पर सुनवाई 5 मई, 2025 तक स्थगित कर दी है.

Gyanvapi Masjid सर्वे मामले में हिंदू पक्ष को बड़ा झटका, जानें हाईकोर्ट ने क्यों ठुकरा दी अर्जी

Gyanvapi Masjid: इलाहाबाद हाईकोर्ट ने वाराणसी की एक अदालत के फैसले को चुनौती देने वाली याचिका पर आज यानी 15 अप्रैल को सुनवाई पांच मई, 2025 तक के लिए टाल दी. वाराणसी की अदालत ने ज्ञानवापी मस्जिद परिसर में स्थित वुजूखाना का सर्वे करने का एएसआई को निर्देश देने से मना कर दिया था.

आज यानी 15 अप्रैल को जब इस मामले पर सुनवाई शुरू हुई, अदालत को सूचित किया गया कि 2020 की रिट याचिका संख्या 1246 (अश्विनी कुमार उपाध्याय बनाम केंद्र सरकार एवं अन्य) में सुप्रीम कोर्ट ने अंतरिम आदेश पारित किया है जो 21 अप्रैल, 2025 तक प्रभावी है. इस पर अदालत ने सुनवाई टाल दी.

सुप्रीम कोर्ट ने दिया था ये आदेश
सुप्रीम कोर्ट ने अपने अंतरिम आदेश में निर्देश दिया था कि हालांकि नए वाद दाखिल किए जा सकते हैं, अगले आदेश तक कोई मुकदमा पंजीकृत नहीं किया जाएगा और उसमें कोई सुनवाई नहीं की जाएगी. साथ ही कोई भी अदालत सर्वे आदि सहित कोई अंतरिम आदेश या अंतिम आदेश पारित नहीं करेगी.

कौन सी आदालत कर रही इस मामले की सुनवाई
इस मामले की सुनवाई न्यायमूर्ति रोहित रंजन अग्रवाल की अदालत कर रही है. अदालत ने मस्जिद कमेटी को इस बीच अपना जवाबी हलफनामा दाखिल करने का समय दिया. अपनी पुनरीक्षण याचिका में वादी राखी सिंह ने दलील दी है कि वुजूखाना क्षेत्र का सर्वे न्याय हित में आवश्यक है और इससे वादी और प्रतिवादी दोनों को लाभ होगा और अदालत को इस मुकदमे में निष्कर्ष पर पहुंचने में मदद मिलेगी. 

उन्होंने यह भी कहा कि वुजूखाना क्षेत्र का एएसआई से सर्वे इसलिए भी आवश्यक है क्योंकि इससे संपूर्ण संपत्ति का धार्मिक चरित्र निर्धारित हो सकेगा.

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