सालार मसूद गाजी के बाद शकील बाबा के उर्स पर भी 'सांप्रदायिक' साया; बाराबंकी प्रशासन ने लगाई रोक
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सालार मसूद गाजी के बाद शकील बाबा के उर्स पर भी 'सांप्रदायिक' साया; बाराबंकी प्रशासन ने लगाई रोक

Syed Shakeel Shah Baba Urs in UP: बीते माह बहराइच में आयोजित होने वाले सालार मसूद गाजी के मेले को प्रशासन ने रद्द कर दिया था. इसके बाद अब बाराबंकी जिले में आयोजित होने वाले सैयद शकील बाबा के उर्स पर रोक लगा दी है. यह उर्स मेला गंगा जमुनी तहजीब की एक शानदार मिसाल थी, जिसमें हिंदू मुस्लिम जायरीन बड़ी संख्या में पहुंचते थे.

 

शकील बाबा के उर्स पर रोक
शकील बाबा के उर्स पर रोक

Barabanki News Today: उत्तर प्रदेश में योगी सरकार लगातार मुस्लिम समुदाय से ताल्लुक रखने वाले मस्जिद, मदरसे, मजारों और ईदगाहों पर कार्रवाई करने में जुटी है. अब मुस्लिम समुदाय की परंपराओं और रीति रिवाजों पर भी पाबंदी लगाने की कोशिश की जा रही है. वहीं, अब प्रदेश के बाराबंकी में जिले में सालों से आयोजित होने वाले शकील बाबा के उर्स पर भी रोक लगा दी गई है. जिससे जायरीन को गहरा धक्का लगा है. 

यह मशहूर मजार बाराबंकी जिले के सूरतगंज क्षेत्र के फूलपुर गांव में है. हर साल शकील बाबा के मजार पर आयोजित होने वाले उर्स मेले को प्रशासन ने इजाजत नहीं दी. पुलिस प्रशासन को आशंका है कि आयोजन के दौरान सांप्रदायिक तनाव या हंगामा हो सकता है. पुलिस अधिकारियों ने कहा कि कानून व्यवस्था को देखते हुए उर्स के आयोजन की इजाजत नहीं दी गई है. 

चार दिन चलता था उर्स

यह मेला हर साल 10 जून से शुरू होता था और चार दिनों तक चलता था. इस उर्स में गंगा जमुनी तहजीब की शानदार मिसाल देखने को मिलती है. इसमें बाराबंकी जिले के साथ- साथ आसपास के जिलों से बड़ी संख्या में हिंदू, मुस्लिम जायरीन जियारत के लिए पहुंचते थे और सुख समृद्धि के लिए दुआएं मांगते थे. इस उर्स मेले का आयोजन गांव में पिछले 75 सालों से बहुत ही धूमधाम से मनाया जाता रहा है. 

हालांकि, अब कानून व्यवस्था के नाम पर उर्स के आयोजन पर रोक लगाने से पुलिस प्रशासन की मंशा पर सवाल खड़े होने लगे हैं. स्थानीय ग्राम प्रधान असलम उर्फ छंगा ने पुष्टि की कि पुलिस से इजाजत नहीं मिली, इसकी वजह से मेले को निरस्त कर दिया गया है. उन्होंने बताया कि इस बार मेले के लिए सभी तैयारियां लगभग पूरी हो चुकी थीं, झूले लग गए थे और कई दुकानें भी सज गई थीं. 

दुकानदारों को लाखों रुपये का नुकसान

ग्रामीणों का कहना है कि स्थानीय पुलिस ने मौके पर पहुंचकर बिना इजाजत मेले का आयोजन न करने की हिदायत दी और उसे रद्द करवा दिया. पुलिस के जरिये उर्स के आयोजन पर अचानक रोक लगाने से दुकानदारों को लाखों रुपये का नुकसान उठाना पड़ रहा है. उर्स मेले का आयोजन रोकने से सभी संप्रदाय के लोगों में निराशा देखने को मिल रही है. 

पुलिस ने क्या कहा?

दैनिक भास्कर में छपी एक रिपोर्ट के मुताबिक, पिछले साल शकील बाबा के उर्स मेले में दो पक्षों के बीच विवाद के बाद मारपीट हो गई थी. लोगों में यह चर्चा है कि इसी वजह से पुलिस ने इस बार भी किसी अप्रिय घटना की आशंका जताते हुए मेला कमेटी को उर्स आयोजित करने की इजाजत नहीं दी है. 

इस संबंध में सूरतगंज चौकी प्रभारी उमेश कुमार वर्मा ने बताया कि मेले का आयोजन प्रशासन से इजाजत लिए बगैर किया जा रहा था. सूचना मिलने पर उन्होंने मौके पर जाकर आयोजकों को हिदायत दी, जिसके बाद इस मेले को रद्द कर दिया गया.

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