Nizamjuddin Markaz Reopens: मस्जिद का प्रबंधन यह सुनिश्चित करेगा कि लोगों को नमाज के लिए मस्जिद में प्रवेश करने की अनुमति देते समय कोविड-19 प्रोटोकॉल और सामाजिक दूरी का पालन किया जाएगा.
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नई दिल्लीः कोविड नियमों के कथित उल्लंघन के कारण बंद होने के दो साल बाद यहां निजामुद्दीन मरकज (Nizamuddin Markaz ) को बृहस्पतिवार को दो दिन के लिए फिर से खोल दिया गया ताकि लोग शब-ए-बरात (Shab e Barat) पर नमाज अदा कर सकें. दिल्ली उच्च न्यायालय ने बुधवार को मरकज की तीन मंजिलों को फिर से खोलने की अनुमति देते हुए कहा था कि मस्जिद का प्रबंधन यह सुनिश्चित करेगा कि आगंतुकों द्वारा कोविड-19 प्रोटोकॉल का पालन किया जाए. शब-ए-बरात 18 मार्च को है.
उच्च न्यायालय के आदेश पर खोला गया मरकज
पुलिस के मुताबिक दोपहर करीब साढ़े बारह बजे मरकज के दरवाजे खोले गए. मरकज की प्रबंधन समिति के वकील फुजैल अहमद अयूबी ने कहा, ‘‘उच्च न्यायालय के आदेश के मुताबिक पुलिस ने आज मरकज के दरवाजे खोल दिए.’’ निजामुद्दीन मरकज मार्च 2020 में विवाद के केंद्र में था, जब तबलीगी जमात द्वारा आयोजित एक कार्यक्रम में शामिल होने वाले कई लोग कोरोना वायरस से संक्रमित पाए गए थे. इसके बाद मरकज को बंद कर दिया गया.
अगले दिन शाम चार बजे बंद कर दिया जाएगा बंद
अदालत ने अपने आदेश में कहा कि मस्जिद भवन के भूतल और तीन अन्य मंजिलों को शब-ए-बारात से एक दिन पहले दोपहर 12 बजे खोला जाएगा और अगले दिन शाम चार बजे बंद कर दिया जाएगा. न्यायमूर्ति मनोज कुमार ओहरी ने एक मंजिल पर 100 लोगों की मौजूदगी से जुड़े प्रतिबंध को हटा दिया और कहा कि यह सहमति बनी है कि मस्जिद का प्रबंधन यह सुनिश्चित करेगा कि लोगों को नमाज के लिए मस्जिद में प्रवेश करने की अनुमति देते समय कोविड-19 प्रोटोकॉल और सामाजिक दूरी का पालन किया जाएगा.
इन प्रोटाॅकोल का करना होगा पालन
अदालत ने मरकज प्रबंधन समिति को 26 फरवरी को दिल्ली आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (डीडीएमए) के दिशा-निर्देशों का पालन करने का आदेश दिया है जिसमें मास्क पहनना, सामाजिक दूरी बनाए रखना, हाथ धोते रहने और बंद जगहों पर वेंटिलेशन की व्यवस्था का पालन करने का निर्देश दिया गया है. वकील ने कहा कि प्रबंधन समिति डीडीएमए के सभी दिशा-निर्देशों का सख्ती से पालन करेगी और भीड़भाड़ नहीं होने दी जाएगी.
रमजान में मरकज खोलने पर अदालत करेगी सुनवाई
अदालत दिल्ली वक्फ बोर्ड की उस अर्जी पर सुनवाई कर रही थी जिसमें मार्च और अप्रैल में शब-ए-बारात और रमजान के मद्देनजर मस्जिद खोलने के लिए निर्देश देने का अनुरोध किया गया था. अदालत ने रमजान के दौरान मस्जिद को फिर से खोलने के मुद्दे पर निर्णय लेने के वास्ते 31 मार्च के लिए मामला सूचीबद्ध किया. रमजान दो अप्रैल से शुरू होगा.
इस वजह से मरकज पर लगे थे ताले
महामारी कानून, आपदा प्रबंधन कानून, विदेशी कानून और दंड संहिता के विभिन्न प्रावधानों के तहत निजामुद्दीन मरकज में आयोजित तबलीगी जमात कार्यक्रम और उसके बाद कोविड-19 लॉकडाउन के दौरान विदेशियों के ठहरने के संबंध में 2020 में कई प्राथमिकी दर्ज की गईं.
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