ओवैसी ने इस फैसले को रंजन गोगोई का मुआवजा बताया है. उन्होंने अपने ट्विटर हैंडल पर लिखा, ''क्या यह इनाम है''? लोग जस्टिस की अज़ादी पर कैसे यकीन करेंगे? कई सवाल'' इसके साथ ओवैसी ने वज़ारते दाखिला का नोटिफिकेशन भी शेयर किया है
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नई दिल्ली: सद्रे जम्हूरिया रामनाथ कोविंद (President Ram Nath Kovind) ने साबिक सीजेआई रंजन गोगोई (Ranjan Gogoi) को राज्यसभा के लिए नामज़द किया है. जिस परAIMIM सद्र असदुद्दीन ओवैसी (Asaduddin Owaisi), कांग्रेस तरजुमान रणदीप सुरजेवाला (Randeep Singh Surjewala) समेत कई लीडरों को सद्रे जम्हूरिया का ये फैसला पसंद नहीं आया है.
Is it “quid pro quo”?
How will people have faith in the Independence of Judges ? Many Questions pic.twitter.com/IQkAx4ofSf— Asaduddin Owaisi (@asadowaisi) March 16, 2020
ओवैसी ने इस फैसले को रंजन गोगोई का मुआवजा बताया है. उन्होंने अपने ट्विटर हैंडल पर लिखा, ''क्या यह इनाम है''? लोग जस्टिस की अज़ादी पर कैसे यकीन करेंगे? कई सवाल'' इसके साथ ओवैसी ने वज़ारते दाखिला का नोटिफिकेशन भी शेयर किया है जिसमें सद्रे जम्हूरिया ने साबिक सीजेआई को राज्यसभा के लिए नामज़द किया है.
कांग्रेस लीडर और तरजुमान रणदीप सिंह सुरजेवाला ने अपने ट्विटर हैंडल से एक के बाद एक कई ट्वीट और रीट्वीट कर इसकी मुखालिफत जताया. उन्होंने लिखा, ''तस्वीरें सब बयां करती हैं.''
The Pictures say it all! pic.twitter.com/6oSutHSy8A
— Randeep Singh Surjewala (@rssurjewala) March 16, 2020
बता दें कि साबिक चीफ जस्टिस ऑफ इंडिया (CJI) ने कई अहम फैसले अपनी मीआदकार में सुनाए हैं. जिसमें सबसे अहम फैसला अयोध्या तनाज़े का था. CJI के तौर पर गोगोई की मीआदकार करीब साढ़े 13 महीने का रही. इसके अलावा चीफ जस्टिस का ऑफिस पब्लिक अथॉरिटी मामला, सबरीमाला मामला, सरकारी इश्तिहार में लीडरों की तस्वीर पर पाबंदी का मामला और अंग्रेजी-हिंदी समेत 7 ज़बानों समेत कई अहम मामलों पर फैसला सुनाया है.