Hijab Controversy: हाई कोर्ट का अंतरिम आदेश उन कॉलेजों के शिक्षकों या छात्रों पर लागू नहीं होता जिनके पास निर्धारित यूनिफॉर्म नहीं है.
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Hijab Controversy: कर्नाटक के तुमकुरु जिले के एक निजी कॉलेज की लेक्चरर ने पहली बार कॉलेज प्रबंधन द्वारा हिजाब हटाने के लिए कहे जाने के बाद इस्तीफा दे दिया है.
जैन पीयू कॉलेज में अंग्रेजी की लेक्चरर चांदनी नाज ने 16 फरवरी को लिखे खत में कहा "मैं अंग्रेजी लेक्चरर के तौर पर अपने पद से इस्तीफी दे रही हूं क्योंकि आपने मुझसे हिजाब उतारने को कहा है, जो मैं आपके कॉलेज में पिछले तीन साल से पहन रही हूं. धर्म का अधिकार एक संवैधानिक अधिकार है जिसे कोई भी नकार नहीं सकता. धन्यवाद. मैं आपके अलोकतांत्रिक कृत्य (एसआईसी) की निंदा करती हूं."
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द पिंट की एक खबर के मुताबिक के.टी. जैन पीयू कॉलेज के प्रिंसिपल मंजूनाथ ने कहा कि “वह (नाज़) पार्ट-टाइम लेक्चरर हैं और हिजाब पहनकर क्लास में आती थीं. कर्नाटक उच्च न्यायालय के अंतरिम आदेश के बाद, हमने उन्हें स्टाफ रूम में हिजाब हटाने और कक्षा में जाने के लिए कहा, लेकिन वह ऐसा नहीं करना चाहती थी, इसलिए इस्तीफा दे दिया.
हालांकि, हाई कोर्ट का अंतरिम आदेश उन कॉलेजों के शिक्षकों या छात्रों पर लागू नहीं होता जिनके पास निर्धारित यूनिफॉर्म नहीं है.
प्रिंसिपल ने मजीद कहा कि “हम एक निजी कॉलेज हैं. इंतेजामिया जो भी कहे, हमें उसका पालन करना होगा. अगर एक शिक्षक को हिजाब पहन कर पढ़ाने की इजाजत दी जाएगी तो मुस्लिम छात्रा भी इसकी मांग करेंगी.''
इस्तीफा देने के एक दिन बाद एक वीडियो जारी कर नाज़ ने कॉलेज प्रबंधन के फैसले को "उनके स्वाभिमान पर हमला" कहा.
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