खत्म हुई इंतेज़ार की घड़ी, अंबाला एयरबेस पर लैंड हुए रफाल तय्यारे
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खत्म हुई इंतेज़ार की घड़ी, अंबाला एयरबेस पर लैंड हुए रफाल तय्यारे

जिस पल का इंतजार मुल्क को बरसों से था, वो आखिरकार आ ही गया. रफाल का इंतजार खत्म हो चुका है. रफाल तय्यापों की हरियाणा के अंबाला एयरबेस पर लैंडिंग हो गई है.

फाइल फोटो.
फाइल फोटो.

आखिरकार एक लंबा इंतिजार खत्म हुआ. इंडियन एयरफोर्स की ताकत में आज और इज़ापा हो गया है. पांच रफाल लड़ाकू तय्यारे हिंदुस्तानी हद में पहुंच गए हैं. फ्रांस से उड़ान भरने के बाद अंबाला एयरबेस पर पांचों राफेल जेट की हैप्पी लैंडिंग हुई, यहां फाइटर तय्यारों का इस्तकबाल वाटर सैल्यूट के साथ किया गया. इस दौरान एयर चीफ RKS भदौरिया भी मौजूद रहे.

रफाल फाइटर जेट के टचडाउन को देखते हुए अंबाला जिला इंतेज़ामिया ने एयरबेस के आस पास 3 किलोमीटर दायरे में दफा 144 लागू कर दी है. इसके फोर्स स्टेशन को नो ड्रोन जोन ऐलान कर दिया है. इंतेज़ामिया के हुक्म के मुताबिक एयरफोर्स स्टेशन के तीन किलोमीटर के दायरे में अगर कोई भी ड्रोन उड़ता पाया गया तो एयरफोर्स अथॉरिटी उसे तबाह कर देगी. साथ ही ड्रोन उड़ाने वाले शख्स और एजेंसी के खिलाफ सख्त कार्रवाई करेगी. एयरफोर्स अहाते में बगैर इजाजत घुसने पर देखते ही गोली मारने की वार्निंग भी दी गई है.

बता दें कि रफाल कई खुसूसियात से लेस है. इसके अचूक निशाने से दुश्मन किसी तरह नहीं बच सकता. इसके वज़न की बात करें ते बगैर पे लोड के रफाल का वज़न 10 टन है. वहीं अगर यह मिसाइल्स के साथ उड़ान भरता है तो इसका वजन 25 टन तक हो जाता है. रफाल की रफ्तार की बात करें तो यह 2450 किलोमीटर फी घंटा इसकी रफ्तार है. इसकी लंबाई 15.30 मीटर और ऊंचाई 5.30 मीटर जो पहाड़ी क्षेत्र में उड़ने के लिए आदर्श एयरक्राफ्ट बनाता है.

रफाल तय्यारा भारत के ज़रिए पिछले दो दहाई से ज्यादा वक्त में लड़ाकू तय्यारों की पहली बड़ी खरीद है. इन विमानों के आने से हिंदुस्तानी एयरफोर्स की जंगी सलाहियत में अहम तौर पर इज़ाफा होगा. भारत ने 23 सितंबर 2016 को फ्रांसीसी एरोस्पेस कंपनी दसॉल्ट एविएशन से 36 राफेल लड़ाकू तय्यारे खरीदने के लिए 59,000 करोड़ रुपये का सौदा किया था.

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