वादा करके मुकरने वाला नहीं होता है मुसलमान; पढ़ें ये हदीस
Siraj Mahi
Mar 05, 2024
अहमियत इस्लाम में वादे की बहुत अहमियत बताई गई है. जो शख्स वादा करके पूरा नहीं करता है वह मुनाफिक है.
वक्त का ख्याल इस्लाम इस बात पर जोर देता है कि अगर आप किसी से वादा करें तो उसे वक्त पर निभाएं.
मोमिन इस्लाम की तालीम में वादा पूरा करना और अपनी बात पर कायम रहने को मोमिन की पहचान बताई गई है.
अहद पर कायम इस्लाम चाहता है कि उसे मानने वाला हर सख्स जबान का पक्का हो, अपने अहद पर कायम रहे.
वादा निभाओ कोई भी शख्स मोमिन को झूठा न कह सके. इसलिए हर मोमिन की ये जिम्मेदारी है कि वह दूसरों से किया हुआ वादा निभाए.
बुनियाद इस्लाम कहता है कि जिस समाज में वादा निभाने की जिम्मेदारी नहीं होती है उसकी कोई बुनियाद नहीं होती है.
इज्जत कहा जाता है कि जो समाज वादा पूरा न करके अपना यकीन खो देता है, वह अपनी इज्जत भी खो देता है.
कुरान अल्लाह ने कुरान में कहा है कि "अहद पूरा करो, क्योंकि कयामत के दिन अहद के बारे में इंसान जवाबदेह होगा." (कुरान: सूरह- बनी इस्राईल)
हदीस हदीस में है कि "जिस में तीन बातें पाई जाती हों वह मुनाफिक है, जब बात करे तो झूठ बोले, वादा करे तो वादा खिलाफी करे, अगर अमानत रखी जाती है तो ख्यानत करे." (हदीस: सहीह, बुखारी)