Pakistan Minority atrocities: हाल के सालों में पाकिस्तान में अल्पसंख्यकों के हमले और उनके जुल्म व जियादती के वाक्यात में बे-पनाह इज़ाफ़ा हुआ है. अल्पसंख्यकों के हितों की रक्षा नहीं करने के लिए अंतरराष्ट्रीय समुदाय द्वारा देश की आलोचना भी हो रही है.
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कराची: पाकिस्तान के सिंध सूबे (Sindh Province) में सोमवार को एक हिंदू व्यापारी को कत्ल कर दिया गया. ये घटना घोटकी जिले के डाहरकी शहर (Daharki Town) के पास पेश आया है. इस घाटना से नाराज लोगों ने हाइवे को जाम कर दिया. पुलिस मामले की छानबीन कर रही है. जमीन विवाद हत्या की वजह बताई जा रही है.
जिस हिंदू व्यापारी (Hindu Businessman) की गोली मारकर हत्या की गई है, उसका नाम शैतान लाल बताया जा रहा है. द एक्सप्रेस ट्रिब्यून की रिपोर्ट के मुताबिक, व्यापारी शैतान लाल की सोमवार को घोटकी जिले में जमीन के एक टुकड़े को लेकर गोली मारकर हत्या कर दी गई.
क्या है पूरा मामला
द एक्सप्रेस ट्रिब्यून ने बताया कि शैतान लाल की जमीन पर एक कपास की फैक्ट्री और आटा चक्की का उद्घाटन हुआ था, जहां कुछ लोगों ने गोली मारकर उसकी हत्या कर दी थी." ट्रिब्यून ने बताया, "हमने शुरू में सोचा कि यह समुदाय के आध्यात्मिक नेता सेन साधराम साहब का स्वागत करने के लिए हवाई फायरिंग थी."
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कत्ल के खिलाफ प्रदर्शन
हिंदू व्यवसायी के कत्ल के खिलाफ में मंगलवार को बड़ी तादाद में प्रदर्शनकारियों ने कौमी शाहेराह को जाम कर दिया. धरने के बाद पुलिस ने लाल की हत्या के आरोपी सरगना बचाल दाहर और उसके साथियों को गिरफ्तार कर लिया
चंद ही रोज़ के अंदर एक बादरी की भी हत्या
इससे चंद रोज़ पहले ही पाकिस्तान के पश्चिमोत्तर शहर पेशावर (Peshawar) में एक पादरी ( Father) की गोलियां बरसा कर हत्या (Killed) कर दी गई. पुलिस ने इसे एक 'आतंकवादी घटना' (Terrorism Act) बताया है.
वहीं, इसी जनवरी की शुरुआत में ही सिंध प्रांत के अनाज मंडी में अज्ञात व्यक्तियों द्वारा 44 वर्षीय हिंदू व्यवसायी सुनील कुमार की गोली मारकर हत्या कर दी थी. शैतान लाल, पादरी और सुनील कुमार पर हाल के हमले पाकिस्तान में अल्पसंख्यकों, खास तौर से हिंदुओं, अहमदिया और ईसाइयों के खिलाफ लगातार हो रहे ज़ल्म की एक और मिसाल है.
अल्पसंख्यकों के खिलाफ हमलों में हो रहा इज़ाफ़ा
गौरतलब है कि हाल के सालों में पाकिस्तान में अल्पसंख्यकों के हमले और उनके जुल्म व जियादती के वाक्यात में बे-पनाह इज़ाफ़ा हुआ है. अल्पसंख्यकों के हितों की रक्षा नहीं करने के लिए अंतरराष्ट्रीय समुदाय द्वारा देश की आलोचना भी हो रही है.
क्या कहती है यूनाइटेड नेशंस की रिपोर्ट
पिछले साल ही यूनाइटेड नेशंस ने रिपोर्ट जारी थी, जिसमें बताया गया था कि पाकिस्तान में रहने वाले अल्पसंख्यक वर्ग के भावी अस्तित्व पर खतरा और बढ़ गया है. ख़ास तौर पर हिन्दू और ईसाई नागरिकों पर पाकिस्तानी कटटरपंथियों के हमले बढ़ गए हैं.
जबरन कराया जा रहा है धर्म-परिवर्तन
रिपोर्ट में दावा किया गया था कि इन हमलों के पीछे मूल कारण मजहबी नफरत है जिसकी आड़ में धर्म-परिवर्तन कराने की घटनाएं बढ़ रही हैं. जान और माल के खतरों से घिरे पाकिस्तानी अल्पसंख्यक धर्म-परिवर्तन के लिए मजबूर किये जा रहे हैं. अल्पसंख्यकों के धर्म-परिवर्तन के सबसे अधिक मामले सिंध और पंजाब प्रांत में देखे गए हैं.
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