मुकेश सहनी ने NDA पर कसा तंज, कहा- इस वजह से नहीं हो सका विभागों का बंटवारा
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मुकेश सहनी ने NDA पर कसा तंज, कहा- इस वजह से नहीं हो सका विभागों का बंटवारा

Jharkhand News: सहनी ने कहा कि बिहार में बड़ा बदलाव हुआ है, लेकिन अभी भी कुछ काम बाकी है. उन्होंने प्रधानमंत्री मोदी के वादे पर सवाल उठाया कि अगर भाजपा को 400 सीटें मिल रही हैं, तो फिर भी उन्हें नीतीश कुमार की क्यों जरूरत पड़ी?.

मुकेश सहनी ने NDA पर कसा तंज, कहा- इस वजह से नहीं हो सका विभागों का बंटवारा

पटना: विकासशील इंसान पार्टी के संस्थापक और बिहार के पूर्व मंत्री मुकेश सहनी का कहना है कि बिहार की राजनीति में जल्दी ही बदलाव आने वाला है. उन्होंने कहा कि भाजपा अध्यक्ष सम्राट चौधरी को अपनी राजनीतिक मुरेठा खोलना चाहिए तक तब तक एनडीए (नीतीश-दलित एकता मोर्चा) में हालत ठीक नहीं हो सकती.

सहनी ने कहा कि बिहार में हाल के दिनों में हुई उथल-पुथल को किसी भी हालत में सही नहीं माना जा सकता है. उन्होंने बड़े दलों को जनता की ओर से कोई फिक्र नहीं होने की बात की और सुझाव दिया कि राजनीतिक दलों को जोड़-तोड़ की राजनीति की बजाय एक विचारधारा के साथ मिलकर काम करना चाहिए. उन्होंने गठबंधन के साथ जाने के बारे में सवाल उठाते हुए कहा कि जल्दी ही खुलासा होगा कि उनकी पार्टी किस संगठन के साथ जुड़ेगी. उन्होंने कहा कि भाजपा को 400 सीटें नहीं मिल रही हैं, और इससे साफ है कि उन्हें और साथियों की जरूरत है.

पूर्व मंत्री ने यह भी कहा कि उनका और उनकी पार्टी का उद्देश्य निषाद समाज के कल्याण और आरक्षण की बातें हैं, और जो गठबंधन इस स्टैंड के साथ होगा, उनकी पार्टी उसके साथ होगी. सहनी ने कहा कि बिहार में बड़ा बदलाव हुआ है, लेकिन अभी भी कुछ काम बाकी है. उन्होंने प्रधानमंत्री मोदी के वादे पर सवाल उठाया कि अगर भाजपा को 400 सीटें मिल रही हैं, तो फिर भी उन्हें नीतीश कुमार की क्यों जरूरत पड़ी? इससे यह साफ है कि भाजपा को इतनी सीटें नहीं मिल रही हैं जितनी उन्होंने चाही. उन्होंने भविष्य में और भी साथियों की आवश्यकता होने की बात की और खुलासा होने पर विचार करेंगे.

सहनी ने कहा कि उनकी पार्टी अकेले ही नहीं, बल्कि किसी न किसी गठबंधन के साथ चुनाव लड़ेगी और जल्दी ही उसका एलान हो गया. उन्होंने अपने लक्ष्य को लेकर स्पष्टता से बताया कि उनका और उनकी पार्टी का मुख्य उद्देश्य निषाद समाज के कल्याण और आरक्षण की सुनिश्चित करना है.

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