स्वच्छ सर्वेक्षण 2023 में क्या रांची बन पाएगा नंबर वन? जानें कैसी है नगर निगम की तैयारी
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स्वच्छ सर्वेक्षण 2023 में क्या रांची बन पाएगा नंबर वन? जानें कैसी है नगर निगम की तैयारी

Jharkhand News: स्वच्छता सर्वेक्षण 2023 का आयोजन आगामी 3 महीनों में होने वाला है. देशभर में होने वाले सर्वेक्षण में राजधानी रांची एक बार फिर फिसड्डी साबित हो सकती है. आगामी स्वच्छता सर्वेक्षण 2023 को लेकर निगम का रवैया उदासीन है. शहर के गली मोहल्लों में कचरे का अंबार जमा हुआ है.

स्वच्छ सर्वेक्षण 2023 में क्या रांची बन पाएगा नंबर वन? जानें कैसी है नगर निगम की तैयारी

रांची: Jharkhand News: स्वच्छता सर्वेक्षण 2023 का आयोजन आगामी 3 महीनों में होने वाला है. देशभर में होने वाले सर्वेक्षण में राजधानी रांची एक बार फिर फिसड्डी साबित हो सकती है. आगामी स्वच्छता सर्वेक्षण 2023 को लेकर निगम का रवैया उदासीन है. शहर के गली मोहल्लों में कचरे का अंबार जमा हुआ है. वहीं डोर टू डोर कचरा उठाने वाली कंपनी का अब तक चयन नहीं हो पाया है. कचरे के निस्तारण को लेकर उठाए गए कदम बेहद धीमी है. यूज़ वाटर या कहे के गंदे जल को लेकर सीवरेज ड्रेनेज एवं फिल्ट्रेशन का निर्माण ठंडे बस्ते में है.

रांची में जमा हुआ कचड़े का पहाड़

बता दें कि इस बार होने वाला स्वच्छता सर्वेक्षण कुल 9500 अंको का है. जहां सबसे पहले सिटीजन फीडबैक लिए जाएंगे जो पुल 2475 अंकों का है. जिसमें कचड़े के उठाव से लेकर उसका निस्तारण, गीला कचरा सूखा कचरा के साथ-साथ प्लास्टिक को अलग करना, गंदे जल का निकासी और उसका फिल्ट्रेशन लेकिन राजधानी की तस्वीर ठीक उलट है. कचरे के उठाव से लेकर वॉटर फिल्ट्रेशन तक की व्यवस्था अब तक नहीं हुई है. राजधानी के झिरी डंपिंग यार्ड में पिछले 20 सालों के अंदर लगभग 40 एकड़ में 600 टन से भी ज्यादा कचड़ा जमा हो गया है.

10 साल पहले बनी थी योजना

मालूम हो कि झिरी में कूड़ा निष्पादित करने की योजना पिछले 10 वर्षों से बन रही है. जिसकी शुरुआत में 2010-11 में ए टू जेड कंपनी ने काम लिया था लेकिन बाद में उसे टर्मिनेट कर दिया गया. 2014-15 में एस्सेल इंफ्रा नाम की कंपनी में काम लिया पर उसने काम छोड़ दिया फिर जाकर सीडीसी नाम की कंपनी आई लेकिन 1 साल के बाद ही वह निकल गई. अब गेल कंपनी इसे बना रही है जिसे दिसंबर 2022 में ही पूरा हो जाना था लेकिन काम इतना धीमा चल रहा है अभी इस समय 4 से 5 साल और लगेंगे. बता दें कि सफाई के मामले में 2019 से पहले रांची तीसरे नंबर पर थी फिर यह खिसक कर 38 पहुंच गए और 34 नंबर पर है.

इनपुट- आयुष सिंह

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