बांग्लादेश के इस फैसले से भारत को लगेगा झटका, इन राज्यों में नहीं मिलेगा हाई स्पीड इंटरनेट
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बांग्लादेश के इस फैसले से भारत को लगेगा झटका, इन राज्यों में नहीं मिलेगा हाई स्पीड इंटरनेट

Bangladesh Internet Policy: जब शेख हसीन बांग्लादेश की पीएम थी तब कि सरकार ने एक पॉलिसी बनाई थी कि वो भारत के पूर्वोत्तर राज्यों को इंटरनेट सप्लाई करने में मदद करेगा. लेकिन, अब एक रिपोर्ट में कहा गया है कि बांग्लादेश के इंटरनेट रेगुलेटर ने इस पॉलिसी को पलट दिया है. 

बांग्लादेश के इस फैसले से भारत को लगेगा झटका, इन राज्यों में नहीं मिलेगा हाई स्पीड इंटरनेट

Internet Speed: भारत के पड़ोसी देश बांग्लादेश ने एक ऐसा फैसला लिया है जिससे भारत के पूर्वोत्तर राज्यों को हाई-स्पीड इंटरनेट मिलने में दिक्कत हो सकती है. जब शेख हसीन बांग्लादेश की पीएम थी तब कि सरकार ने एक पॉलिसी बनाई थी कि वो भारत के पूर्वोत्तर राज्यों को इंटरनेट सप्लाई करने में मदद करेगा. लेकिन, अब एक रिपोर्ट में कहा गया है कि बांग्लादेश के इंटरनेट रेगुलेटर ने इस पॉलिसी को पलट दिया है. इससे भारत के पूर्वोत्तर राज्यों में इंटरनेट कनेक्टिविटी बढ़ाने में बाधा आ सकती है. 

इकोनॉमिक टाइम्स की एक रिपोर्ट में सूत्रों के हवाले से कहा गया है कि यह प्लान बांग्लादेश की रीजनल इंटरनेट हब बनने के मकसद में भी बाधा डाल सकती है. 

क्या थी बांग्लादेश की योजना?
2023 में बांग्लादेश की दो कंपनियां Summit Communications और Fiber@Home ने भारत के भारती एयरटेल के साथ मिलकर एक योजना बनाई थी. इस योजना के तहत सिंगापुर से हाई-स्पीड इंटरनेट बांग्लादेश के रास्ते भारत के पूर्वोत्तर राज्यों तक पहुंचाया जाता. इससे इन राज्यों में इंटरनेट की स्पीड बढ़ जाती.

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अभी कैसे आता था इंटरनेट कनेक्शन
इस योजना में इंटरनेट ट्रैफिक को बांग्लादेश के रास्ते भेजा जाना था. अभी तक इन राज्यों को इंटरनेट कनेक्शन चेन्नई के समुद्री केबलों से सिंगापुर से मिलता है, फिर भारत के डोमेस्टिक फाइबर ऑप्टिक नेटवर्क से होकर जाता है. इस इनडायरेक्ट रूट की वजह से क्षेत्र में इंटरनेट की गति सपीड कम हो जाती है. इस योजना से त्रिपुरा और असम जैसे राज्यों में बांग्लादेश के जरिए हाई स्पीड इंटरनेट पहुंचाया जाता.

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क्यों बदला गया फैसला?
लेकिन अब बांग्लादेश की नई सरकार ने इस योजना को रद्द कर दिया है. सरकार का कहना है कि इससे बांग्लादेश की अपनी इंटरनेट हब बनने की योजना पर असर पड़ सकता है. इससे भारत के पूर्वोत्तर राज्यों को नुकसान हो सकता है. इन राज्यों को अभी इंटरनेट धीमी स्पीड से मिलता है. बांग्लादेश के रास्ते इंटरनेट आने से इन राज्यों में इंटरनेट की स्पीड बढ़ जाती. 

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