स्नान करने की भी विधि है महाराज, नदियों में ऐसे ही कपड़े उतारकर ना कूद जाएं

प्रेमानंद महाराज

श्री हित प्रेमानंद गोविंद शरण जी महाराज, वृन्दावन के रसिक संत हैं, जो राधा नाम के उपासक हैं. लोग महाराज जी के प्रवचनों से काफी प्रभावित रहते हैं.

खुलकर देते हैं जवाब

महाराज जी से हर वैष्णव मिलना चाहता है. वैष्णवजन अपने हर सवाल का उत्तर प्रेमानंद जी से लेना चाहते हैं, जहां महाराज जी भी खुलकर हर सवालों का जवाब देते हैं.

स्नान कैसे करें?

अब महाराज जी ने पवित्र नदियों में स्नान कैसे करें, इसपर अपने विचार रखें हैं.

कभी ना करें ये काम

प्रेमानंद जी कहते हैं, 'नदी व सरोवर में कभी भी बिना कपड़ों के स्नान नहीं करना चाहिए.'

स्नान की विधि है महाराज

अगर आप तीर्थ, पावन नदी में स्नान करने गए हैं तो पहले जहां आप रुके हैं, वहां शौच आदि करते हुए खुद को व नीचे के कपड़ों को साफ करते हुए स्नान के लिए आगे बढ़ें.

सबसे पहले करें ये काम

महाराज जी ने ये भी कहा कि स्नान से पहले पवित्र नदी के सामने प्रणाम करें और सबसे पहले जल का सिर पर छिड़काव करें.

नदी से अनुमति लें

प्रेमानंद जी महाराज कहते हैं कि स्नान से पहले आपको नदी का जल पीना चाहिए और फिर भगवान को याद करते हुए पवित्र नदी से अनुमति लेकर स्नान करना चाहिए.

कैसे करें स्नान

महाराज जी कहते हैं कि नदी में जाकर गोते लगाने चाहिए, लेकिन लोग शरीर को साफ करते हैं. कपड़े साफ करते हैं, जो कि अच्छा नहीं है.

(Disclaimer: यहां दी गई सभी जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. Zee Bharat इसकी पुष्टि नहीं करता है. किसी भी जानकारी को अमल में लाने से पहले संबंधित विशेषज्ञ से सलाह जरूर लें.)