Hamas Israeli war: इजराइल और हमास के बीज पिछले 21 दिनों से जंग जारी है. हमास ने सैकड़ों इजराइली नागरिकों को बंधक बना लिया है. इस बीच एक बड़ी खबर आ रही है. हमास का डेलिगेशन अब ईरानी विदेश मंत्री को लेकर रूस पहुंचा है.
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Hamas Israeli war: हमास और इजराइल जंग 21 दिनों से जारी है. इस जंग में 7 हजार से ज्यादा लोग मारे गए हैं, वहीं 20 हजार से ज्यादा लोग घायल हो चुके हैं. 7 अक्टूबर 2023 को हमास के लड़ाकों ने इजराइल पर हमला किया था. इसके जवाबी कार्रवाई में इजराइल ने गाजा पट्टी में हजारों रॉकेट और मिसाइल दागे. इन हमलों से गाजा पट्टी के लोग बुरी तरह से टूट चुके हैं.
लिहाजा इस हमले को देखते हुए हमास का डेलिगेशन अब ईरानी विदेश मंत्री को लेकर रूस पहुंचा है. मॉस्को में मौजूद विदेश मंत्रालय के मुख्यालय में एक बैठक हुई है. इस बैठक के बाद ईरानी विदेश मंत्री ने कहा, "हमास जंग के दौरान बंधक बनाए गए लोगों को रिहा करने और उन्हें ईरान को सौंपने के लिए तैयार है."
मॉस्को में मौजूद रूसी विदेश मंत्रालय के मुख्यालय में हमास के एक डेलिगेशन ने रूसी राष्ट्रपति के विशेष दूत मिखाइल बोगदानोव और विदेश मामलों के उपमंत्री से मुलाकात की है. ये अहम बैठक गाजा पट्टी पर इजराइली हमले और वॉर क्राइम रोकने को लेकर हुई. इस बैठक में मॉस्को में आंदोलन के प्रतिनिधि और राजनीतिक ब्यूरो के सदस्य डॉ. बासेम नईम भी शामिल थे.
हमास डेलिगेशन ने फिलिस्तीनी लोगों की आजादी के अधिकार को दोहराया. उन्होंने इजारइली के कब्जे को हटाने और अपने विरोध करने के अधिकार की भी हिमायत की. डेलिगेशन ने बताया "फिलिस्तीनी नागरिकों के खिलाफ इजरायली अत्याचार 7 अक्टूबर को शुरू हुआ था और इजरायली सेना जिस तरह से हमला कर रही है, वह किसी भी तरह जायज नहीं ठहराया जा सकता है."
हमास के डेलिगेशन ने रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के रुख की भी सराहना की और और उन्होंने कहा "फिलिस्तीनी लोगों के खिलाफ इजरायली सेना के नरसंहार को रोकने के लिए अंतरराष्ट्रीय समुदाय की जिम्मेदारी संभालने के महत्व पर जोर दिया है."
वहीं रूसी राष्ट्रपति के विशेष दूत ने फिलिस्तीनी लोगों के अधिकारों के लिए अपने मुल्क के समर्थन की आवाज उठाई और युद्धविराम की गुजारिश की. इसके साथ उन्होंने गाजा में मानवीय संकट को देखते हुए बॉर्डर खोलने की बात दोहराई है.