राजस्थान के सीकर में बाबा श्याम का मंदिर स्थित है.
कहा जाता है कि महाभारत युद्ध के बाद भगवान श्री कृष्ण ने बर्बरीक का सिर नदी में बहा दिया था.
इसके बाद बर्बरीक का शीश सीकर के खाटू गांव में धरती में दफन हो गया था.
एक बार उस जगह पर एक गाय गई, जहां उसके थनों से खुद ही दूध बहने लगा, जिसके देख सब हैरान रह गए.
फिर इस बात की सूचना खाटू गांव के राजा को दी गई, जिसके बाद वह आए. ये देख राजा को अपने सपने के बारे में याद आया.
सपने में राजा को भगवान श्री कृष्ण ने उन्हें आदेश दिया था एक जगह पर जमीन में शीश दफन है.
उस शीश को वहां से निकालकर स्थापित कर मंदिर बनवाया जाए.
इसके बाद राजा से खाटू की उस जगह को खुदवाया, जहां से एक शीश निकला.
शीश को निकालने के बाद राजा ने विधि विधान से शीश को स्थापित कर मंदिर बनवाया.
आज के समय में इस मंदिर में हम खाटू श्याम बाबा की पूजा करते हैं, जहां लाखों भक्त दर्शन के लिए आते हैं.
डिस्क्लेमर- ये लेख सामान्य जानकारी और लोगों द्वारा बताई गई कहानियों पर आधारित है, इसकी ज़ी मीडिया पुष्टि नहीं करता है.