राजस्थान की धरती को वीरों की धरती कहा जाता है. यहां की शूरवीरता आज भी इतिहास के पन्नों में नजर आती है.
Sandhya Yadav
Jun 02, 2023
सूरवीरों की धरती
बताया जाता है कि राजस्थान का कोई भी किला मुगलों के नाम पर नहीं है जबकि पूरे भारत में कई जगहों पर मुगलों के नाम के किले हैं. इसी वजह से राजस्थान को सूरवीरों की धरती का तमगा प्राप्त है.
दुश्मन के दांत खट्टे
आज हम आपको राजस्थान के उन पांच सबसे ज्यादा ताकतवर शासकों के बारे में बताने जा रहे हैं, जिनका नाम सुनते ही दुश्मन के दांत खट्टे हो जाते थे. वे डर के मारे थरथर कांपने लगते थे.
हमीर देव चौहान
साल 1283 से लेकर के 1301 तक की हमीर देव चौहान ने रणस्तंभपुर पर शासन किया था. बताया जाता है कि यह चौहान वंश के आखिरी राजा थे.
राणा कुंभा
राजस्थान के सूर वीरों में राणा कुंभा का भी नाम शामिल है. यह मेवाड़ के सबसे प्रतिष्ठित शासक थे.
शासन काल
उदारवादी और ताकतवर शासक राणा कुंभा ने सन 1433 से लेकर के 1468 तक शासन किया था.
हेम चंद्र विक्रमादित्य
16वीं शताब्दी में दिल्ली की गद्दी पर बैठने वाले आखिरी हिंदू शासक हेम चंद्र विक्रमादित्य को हेमू के नाम से भी जाना जाता है. हेमचंद्र आदिल शाह सूरी के बहादुर शहर सेनापति थे.
अकबर की सेना को हराया
सन 1556 में हेमचंद्र विक्रमादित्य ने दिल्ली की लड़ाई में अकबर की सेना को हरा दिया था. अकबर की सेना को हराने के बाद हेमू को विक्रमादित्य नाम दिया गया था.
महाराणा प्रताप सिंह
राजस्थान के शूरवीर शासकों में महाराणा प्रताप सिंह का नाम शामिल है. इन्हें राजस्थान के सबसे शक्तिशाली शासक कहा जाता है.
शासनकाल
सन 1540 से लेकर 1597 तक महाराणा प्रताप ने यहां पर शासन किया था.
महाराजा सूरजमल
राजस्थान की शौर्य गाथा में महाराजा सूरजमल का नाम भी शामिल है. इन्हें सुजान सिंह के नाम से भी जाना जाता है.