भगवान के सामने या अन्य पूजा स्थानों पर हिंदू घरों में दीया जरूर जलाया जाता है लेकिन इससे जुड़ी गलतियां कभी नहीं करनी चाहिए वरना बुरे परिणाम भुगतने पड़ सकते हैं.
बीच में नहीं बुझाना चाहिए
भविष्य पुराण में बताया गया है कि कभी भी जलता दीया बीच में नहीं बुझाना चाहिए.
दीप दान का महत्व
भविष्य पुराण में स्वयं भगवान श्रीकृष्ण ने युधिष्ठिर को दीप दान का महत्व बताया है.
क्या सही क्या गलत
इसमें भगवान श्रीकृष्ण ने दीप दान विधि तो बताई है लेकिन उसे बुझाने, हटाने और चुराने की बात को गलत भी कहा है.
निंदनीय कार्य
भगवान श्रीकृष्ण ने युधिष्ठिर को समझाते हुए कहा कि कभी भी दीये को न बुझाना चाहिए और न ही हटाना. यह अति निंदनीय कार्य है.
अंधा-काना
भगवान श्रीकृष्ण के अनुसार जो शख्स दीया को बुझाता है, वह काना हो जाता है और चुराने वाला अंधा हो जाता है.
वैदिक ग्रंथों में भी मनाही
भविष्य पुराण के अलावा अन्य वैदिक ग्रंथों में भी दीप बुझाने को मना किया जाता है.
शुद्धीकरण और पवित्रता की प्रतीक
मान्यताओं की मानें तो दीये को बुझाने के मतलब होता है कि अग्नि को बुझाया. अग्नि शुद्धीकरण और पवित्रता की प्रतीक होती है.
धन हानि
जो लोग दीया बुझाते हैं, उनके घर में नकारात्मकता आती है. इससे धन हानि भी हो सकती है.
डिस्क्लेमर- ये लेख सामान्य जानकारी और लोगों द्वारा बताई गई मान्यताओं पर आधारित है, इसकी ज़ी मीडिया पुष्टि नहीं करता है.