क्या UP में मायावती और ओवैसी की पार्टी का होगा गठबंधन? क्या यही है अखिलेश यादव के टेंशन की वजह
लोकसभा चुनावों के लिए सभी दलों ने तैयारियां शुर कर दी हैं. सभी दलों में टिकट बंटवारे पर मंथन चल रहा है. बीजेपी जहां सर्वसमाज की सेवा की बात कर रही है. तो कभी मुस्लिमन-यादव समीकरण से यूपी की सत्ता पर काबिज रही समाजवादी पार्टी, पीडीए की राजनीति करने का दावा कर रही है. कुल मिलाकर मुस्लिम वोट बैंक की जबरदस्त चर्चा हो रही है.
मुस्लिमों के शुभचिंतक होने का दावा करने वाले तमाम नेताओं में से एक एआईएमआईएम के सुप्रीमो असदुद्दीन ओवैसी यूपी में अपने कैंडिडेट उतारने की तैयारी में हैं.
सूत्रों के हवाले से खबर है कि बीएसपी इस बार AIMIM के साथ मिलकर चुनाव लड़ सकती है. जाहिर है ऐसा हुआ तो पिछड़ा-दलित-अल्पसंख्यक की बात कर रहे अखिलेश यादव का प्लान गड़बड़ा सकता है.
असदुद्दीन ओवैसी की पार्टी यूपी में लोकसभा चुनाव लड़ने जा रही है. सांसद असदुद्दीन ओवैसी की ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन (AIMIM) ने एंट्री करके यूपी के अल्पसंख्यक मतदाताओं में बिखराव करने की शुरुआत कर दी है.
सूत्रों के हवाले से खबरें आ रही हैं कि ओवैसी की पार्टी AIMIM इस बार बहन जी की पार्टी BSP के साथ गठबंधन कर लोकसभा का चुनाव लड़ सकती है.
बीएसपी भी शुरू से दलितों और मुस्लिमों की रहनुमाई का दावा करती है. ऐसे में 2024 की चुनावी जंग में लीड बनाने के लिए मायावती बीएसपी के कैंडिडेट फाइनल करने के लिएमंडल, सेक्टर के प्रभारियों के साथ ताबड़तोड़ बैठकें और चर्चा कर रही हैं.
बीएसपी जल्द ही लोकसभा चुनाव के प्रत्याशियों का एलान करने जा रही है. मंथन और समीक्षा का पूरा कभी भी पूरा हो सकता है. उसके फौरन बाद प्रत्याशियों की पहली सूची की पहली सूची जारी की जाएगी.
पहली सूची में पश्चिमी यूपी के कैंडिडेट्स के नाम होंगे. खबरें ये भी चल रही हैं कि AIMIM के साथ BSP मिलकर चुनाव लड़ सकती है.
AIMIM देश के सबसे बड़े सूबे यूपी की आजमगढ़ सीट समेत कुल 7 सीटों पर उम्मीदवार उतारने का दावा कर चुकी है.
ऐसे में बीएसपी के साथ AIMIM के एकसाथ चुनावी मैदान में उतरने से समाजवादी पार्टी (SP) और इंडिया गठबंधन की मुश्किलें बढ़ना तय माना जा रहा है.