सुल्तान इब्राहिम लोधी को हराकर बाबर ने भारत में मुगल साम्राज्य की नींव रखी थी. लेकिन कम ही लोग जानते हैं कि वह भारत के मसालों और खान-पान से बहुत प्रभावित हुआ था.
मछलियां खाना पसंद था
बाबर को खारे पानी की मछलियां खाना बहुत पसंद था. बाकी व्यंजन भी वह बहुत चाव से खाता था.
खाने में आई विविधता
सल्तनत की बागडोर हुमांयू के हाथों में आने के बाद दिल्ली के खान-पान में काफी बदलाव हुआ. तब भारतीय खान-पान पर फारसी असर देखा गया. हुमायूं को शरबत और खिचड़ी बहुत पसंद थी.
बकरी के मांस का शौकीन
बात अकबर की करें तो उसके काल में मुगल व्यंजनों में विविधता आई. अकबर को बकरी का मांस बहुत पसंद था.
कई नए व्यंजन आए
इसके अलावा अकबर के ही शासन काल में मुर्ग मुसल्लम और नवरत्न कोरमा आए थे.
खाने-पीने का शौक
सिर्फ शराब और औरतें ही नहीं. जहांगीर को खान-पान का भी बहुत शौक था. उसके काल में मुगलिया खाने में कई नए व्यंजन जुड़े.
बेगम बनाती थी शराब
इतिहासकारों के मुताबिक, उसकी पत्नी नूरजहां कई तरह की वाइन बनाती थी.
यमुना का पानी पीने वाला सुल्तान
ताजमहल बनवाने वाला बादशाह शाहजहां फलों का शौकीन था. वह यमुना का पानी पीता और फलों का स्वाद लेता था. विभिन्न मसाले भी उसको पसंद आते थे.
औरंगजेब को पसंद थी ये डिश
सबसे कट्टर मुगल बादशाह औरंगजेब को कुबूली नाम की बिरयानी पसंद थी. वह शाकारी पंचमेल दाल का भी शौकीन था.
शिकार का शौकीन बादशाह
मुगलिया तख्त के आखिरी बादशाह बहादुर शाह जफर को हिरण का मांस खाना पसंद था, जिसका वह खुद शिकार करता था.