मुगल शहजादियां और गुलाब

मुगलकाल में गुलाब का रुतबा ऐसा था कि मुगल हरम की शहजादियां और बेगमें बिना गुलाब के पानी के हमाम में नहाने के लिए उतरती ही नहीं थीं.

Shwetank Ratnamber
Jun 02, 2023

नूरजहां को था गुलाब से प्यार

मुगल बादशाह जहांगीर की बेगम नूरजहां को भारत में फैशन और इत्र के नए-नए प्रयोगों की शुरुआत करने वाला माना जाता है.

नूरजहां ने की बड़ी खोज

बताया जाता है कि नूरजहां ने गुलाब से इत्र बनाने की खोज की, जिसे ईरान में अतर कहा जाता था, जो हिंदुस्तान में आकर इत्र कहलाया.

गुलाब के पानी में नहाती थी नूरजहां

कहा जाता है कि हरम में नूरजहां गुलाब के पानी में ही नहाती थी.

शरीर पर मले जाते थे गुलाब

कहा जाता है कि मुगल हरम की राजकुमारियां और बेगमों के श्रंगारदान में गुलाब का इत्र जरूर होता था.

गुलाब से शराब

गुलाब से शराब भी बनाई जाती थी.

गुलाब से अनोखा प्यार

मनूची अपने संस्मरण में लिख है कि मुगलों को गुलाब से इतना प्यार था कि वे इसके पानी से ही नहाते थे.

गुलाब के शौकीन मुगल

मुगलों को पेड़-पौधों और फूलों से इतना लगाव था कि उन्होंने अपने महलों में फूल-पौधों के बड़े बड़े बगीचे बनवाए.

मुगल काल में गुलाब के अनसुने किस्से

गुलाब का फूल कभी सल्लतनत जीतने के काम आया तो कभी दिल.

अंग्रेज भी गुलाब के शौकीन

मुगलों का राज खत्म होने के बाद अंग्रेजों ने गुलाब को मोहब्बत की निशानी माना. बाद में धीरे-धीरे यही गुलाब आम लोगों यानी हमारे-आपके बीच भी प्यार जताने का प्रतीक बन गया.

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