Sela Tunnel

क्या है सेला टनल जो चीन के लिए बनेगी सबसे बड़ा सिरदर्द?

KIRTIKA TYAGI
Mar 08, 2024

PM नरेंद्र मोदी शनिवार ( 9 मार्च ) को अरुणाचल प्रदेश में सेला टनल देश को समर्पित करेंगे.

सर्दियों में बर्फबारी की वजह से तवांग तक पहुंचने में मुश्किलें होती थी, लेकिन अब तवांग तक हर मौसम में आवाजाही जारी रहेगी.

सेला टनल सिर्फ लोगों के लिए ही अहम नहीं है, बल्कि यह सेना की ताकत बढ़ाने के लिहाज से भी अहम है.

सेला सुरंग से चीन की सीमा से लगे तवांग तक हर मौसम में ‘कनेक्टिविटी' सुविधा मिलेगी.

सेला टनल से सेना का मूवमेंट भी तेज होगा.

यह टनल करीब 825 करोड़ रुपये की लागत से बनाई गई है.

2019 में PM ने बालीपारा-चारद्वार-तवांग रोड के जरिए तवांग तक हर मौसम में सड़क सुविधा बनाने के लिए सेला टनल प्रोजेक्ट की आधारशिला रखी थी.

इस टनल को पूरा करने का टारगेट अगस्त 2022 का था लेकिन इसमें मौसम सहित कई वजहों से देरी हो गई.

इस टनल को स्नो लाइन से इतने नीचे बनाया गया है कि सर्दियों में बर्फबारी के दौरान बर्फ हटाने की जरूरत भी नहीं पड़ेगी.

सेला टनल के बनने से फौज और सिविल गाड़ियों के मूवमेंट आसानी होगी. इस टनल से तकरीबन छः किलोमीटर की दूरी कम हो जाएगी.

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