Mughal History: तैमूर के वंशज बाबर और उसकी पीढ़ियां क्यों कहलाती हैं मुगल? दिलचस्प है इतिहास

Arti Azad
Jul 23, 2023

बाबर के पिता तैमूर वंश से और मां चंगेज खान के साम्राज्य से संबंध रखते थे.

बाबर ने तैमूर वंश की नीतियों और शासन के तरीके अपनाया, क्योंकि ईरान-इराक और तुर्की में तैमूर वंश का सामाज्य था. हालांकि, उसके राजकाज में चंगेजों का भी असर दिखा.

वहीं, चंगेज खां चीन और मध्य एशिया में शासन करने वाला मंगोल शासक था. बाबर और उसकी पीढ़ियों को नाम मां के मंगोश वंश से मिला.

वहीं, चंगेज खां चीन और मध्य एशिया में शासन करने वाला मंगोल शासक था. बाबर और उसकी पीढ़ियों को नाम मां के मंगोश वंश से मिला.

इन्हें मुगल क्यों कहा जाता है, इनका संबंध भी बाबर की पिछली पीढ़ी से जुड़ा है.

बाबर का झुकाव भले ही पिता के तैमूर वंश की ओर ज्यादा रहा, लेकिन उसे इतिहास में प्रसिद्धि मां के खानदान के कारण ही मिली.

मुगल शब्द पर्शियाई यानी फारसी भाषा मुग शब्द से लिया गया है, जिसका मतलब होता है मंगोल.

बाबर का कनेक्शन मंगोलों से रहा है, इसलिए बाबर और उसके वंशजों को मुगल कहा जाने लगा.

बाबर और इनकी पिछली पीढ़ियों का समय तुर्की में बीतने के कारण इनकी भाषा तुर्की रही, लेकिन खुद को साबित करने के लिए फारसी सीखी.

पर्शिया में इनकी छवि गंवारों की थी, जिसे तोड़ने के लिए मुगलों ने फारसी को अपने साम्राज्य में राजकाज की भाषा के तौर पर चुना और इसे सीखना शुरू किया.

मुगलों ने इसी भाषा में अपने बच्चों को गणित से ज्योतिष की शिक्षा देने के लिए इस भाषा को ही चुना और पीढ़ी दर पीढ़ी इसका असर दिखने लगा.

बादशाह शाहजहां के बेटे दाराशिकोह ने तो रिकॉर्ड बना डाला, उन्होंने 50 उपनिषदों का अनुवाद फारसी में करके इतिहास रच दिया.

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