Muzaffarnagar News: UP के मंत्री समेत 8 नेता MPMLA कोर्ट से बरी, मुजफ्फरनगर उपचुनाव के दौरान बवाल का था आरोप
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Muzaffarnagar News: UP के मंत्री समेत 8 नेता MPMLA कोर्ट से बरी, मुजफ्फरनगर उपचुनाव के दौरान बवाल का था आरोप

उत्तर प्रदेश के Muzzafarnagr जनपद में स्थित एमपी एमएलए कोर्ट ने सोमवार को 2016 विधानसभा उपचुनाव में दर्ज हुए आचार संहिता के एक मामले में उत्तर प्रदेश सरकार में राज्य मंत्री कपिल देव अग्रवाल भाजपा युवा मोर्चा प्रदेश मंत्री नीतीश मलिक सहित आठ लोगों को सबूतों के अभाव में बाइज्जत बरी कर दिया

Muzaffarnagar News: UP के मंत्री समेत 8 नेता MPMLA कोर्ट से बरी, मुजफ्फरनगर उपचुनाव के दौरान बवाल का था आरोप

मुजफ्फरनगर: उत्तर प्रदेश के Muzzafarnagr जनपद में स्थित एमपी एमएलए कोर्ट ने सोमवार को 2016 विधानसभा उपचुनाव में दर्ज हुए आचार संहिता के एक मामले में उत्तर प्रदेश सरकार में राज्य मंत्री कपिल देव अग्रवाल भाजपा युवा मोर्चा प्रदेश मंत्री नीतीश मलिक सहित आठ लोगों को सबूतों के अभाव में बाइज्जत बरी कर दिया है. 

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यह था मामला 
दरअसल आपको बता दें कि मुजफ्फरनगर जनपद में 2016 के दौरान सदर विधानसभा सीट पर उपचुनाव हुआ था, जिसमें बीजेपी के टिकट से कपिल देव अग्रवाल मैदान में थे. चुनाव में भाजपा युवा मोर्चा के प्रदेश मंत्री नीतीश मलिक के नेतृत्व में एक बाइक रैली निकाली गई थी, जिसको लेकर सीओ व अन्य पुलिस कर्मियों से नोकझोक व हाथापाई हो गई थी जिसमें पुलिस ने नीतीश मलिक वर्तमान में उत्तर प्रदेश सरकार में राज्य मंत्री कपिल देव अग्रवाल ,पूर्व विधायक अशोक कंसल ,श्री मोहन तायल ,नितिन मलिक ,विकास जिंदल और शोभित गुप्ता सहित 8 लोगों पर आचार संहिता के उल्लंघन को लेकर धारा 147 ,148 ,332 ,353 और 506 आईपीसी में मुकदमा दर्ज किया गया था, जिसमें आज जनपद की एमपी एमएलए कोर्ट ने सबूतों के अभाव में मंत्री कपिल देव अग्रवाल नीतीश मलिक सहित सभी आठों अभियुक्तों को बाइज्जत बरी कर दिया है.

आदेश के बाद कपिल देव का ब्यान 
राज्य मंत्री कपिल देव अग्रवाल अदालत से राहत मिलने के बाद कहा कि 2016 में जब भारतीय जनता पार्टी ने हमको उपचुनाव लड़ने का अवसर प्रदान किया तो उस समय रूटीन में सभी भारतीय जनता पार्टी के कार्यकर्ता कार्य कर रहे थे, नितीश मालिक जो अध्यक्ष थे उनके नेतृत्व में कुछ लोग बैठे हुए बातचीत कर रहे थे एवं सड़क पर निकले थे तभी तत्काल की समाजवादी पार्टी की सरकार में अनावश्यक रूप से एक तरह से फर्जी मुकदमा उस समय कायम करने का काम हुआ था. सपा की सरकार को भारतीय जनता पार्टी के कार्यकर्ता सुहाते नहीं थे. लेकिन, आज विद्वान् न्यायाधीश का बहुत धन्यवाद करूंगा की उन्होंने उस अपराध से ससम्मान मुक्त करने का काम किया है. हमारे सभी वकीलों ने इसकी पैरवी की है और माननीय न्यायलय ने हमे उस अपराध में हमें दोष मुक्त बरी किया है, इस मामले में 8 लोग थे सभी बरी हो गए हैं.

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