इन मंत्र, विधी और भोग से नवरात्रि के पांचवें दिन करें मां स्कंदमाता की पूजा

Shyamdatt Chaturvedi
Oct 18, 2023

शारदीय नवरात्रि

शारदीय नवरात्रि 15 अक्टूबर से 23 अक्टूबर तक चलेगी. जिसमें 9 दिनों तक माते के 9 रूपों की पूजा की जाएंगी.

नवरात्रि का पांचवा दिन

19 अक्टूबर को शारदीय नवरात्रि के पांचवें दिन मां स्कंदमाता की पूजा की जाएगी. आइये जानें मां के मंत्र और भोग

कैसे पड़ा नाम

भगवान स्कंद कुमार यानी कार्तिकेय की माता होने के कारण दुर्गाजी के पांचवें स्वरूप को स्कंदमाता कहा जाता है.

और दो नाम

इस रूप में माता को पद्मासना की देवी और विद्यावाहिनी दुर्गा देवी भी कहा जाता है. इनकी पूजा से विद्या की प्राप्ति होती है.

माता का रूप

देवी की चार भुजाएं हैं. दाहिनी ऊपरी भुजा से भगवान स्कंद को गोद में पकड़े हैं. दाहिनी भुजा में कमल है.

बीज मंत्र

ह्रीं क्लीं स्वमिन्यै नम:

प्रार्थना मंत्र

सिंहासनगता नित्यं पद्माञ्चित करद्वया, शुभदास्तु सदा देवी स्कन्दमाता यशस्विनी

स्तुति मंत्र

या देवी सर्वभूतेषु मां स्कन्दमाता रूपेण संस्थिता, नमस्तस्यै नमस्तस्यै नमस्तस्यै नमो नमः

भोग

स्कंदमाता को सफेद रंग प्रिय है. इस कारण इन दिन माता को दूध से बने भोग अर्पित करना चाहिए.

माता का प्रताप

नवरात्रि के पांचवे दिन देवी स्कंदमाता की विधिवत पूजा से धन, यश, शांति और बल प्राप्ति होती है.

VIEW ALL

Read Next Story