लोकसभा इलेक्शन से पहले जिन लोगों ने आखिरी वक्त में पार्टी बदली थी. उनके लिए यह इलेक्शन बुरी खबर लेकर आया है. ज्यादातर दल-बदलुओं को हार का सामना करना पड़ा है.

Taushif Alam
Jun 05, 2024


दल-बदलुओं में सबसे बड़ा उलटफेर अंबेडकर नगर से रितेश पांडे का हुआ. इलेक्शन से ऐन पहले बीएसपी सांसद भाजपा में शामिल हो गए, लेकिन सपा के लाली वर्मा से 1.37 लाख वोटों से हार गए.


बीएसपी से कांग्रेस में आए दानिश अली भी अपनी सीट बचाने में नाकामयाब हुए हैं. दानिश अली अमरोहा लोकसभा सीट पर करीब 30,000 वोटों से हार गए. दानिश अली को बीजेपी के पूर्व सांसद रमेश बिधुड़ी ने पार्लियामेंट में गाली-गलौच की थी.


बसपा से टिकट नहीं मिलने पर भदोही के सांसद रमेश बिंद आखिरी वक्त में मिर्जापुर सीट से इलेक्शन लड़ने के लिए सपा में शामिल हो गए और 38,000 वोटों से हार गए.


बीएसपी से बीजेपी में आए दूसरे कैंडिडेट में सुरेश सिंह, हितेंद्र कुमार, नंद किशोर पुंधीर और राजेंद्र सिंह सोलंकी शामिल हैं. ये सभी चुनाव हार गए हैं.


इसके अलावा सारिका सिंह बघेल और सच्चिदानंद पांडे भी बीजेपी में शामिल हुए थे, लेकिन ये सभी इलेक्शन हार गए हैं.


विजेंद्र सिंह आरएलडी को छोड़ बीएसपी में शामिल हुए थे और आम चुनाव लड़ा लेकिन इनकी भी हार हुई है.


वहीं, आबिद अली, जो एसपी से बीएसपी में गए और माजिद अली आजाद समाज पार्टी से बीएसपी में शामिल हुए और चुनाव लड़ा, लेकिन इनकी भी हार हुई है.


हालांकि इस बीच पार्टी बदलने के बावजूद दो कैंडिडेट अपनी सीट बचाने में सफल रहे हैं. गाजीपुर से अफजाल अंसारी ने बाजी मारी है.


इसके अलावा श्रावस्ती से राम शिरोमणि वर्मा ने भी इस इलेक्शन में बाजी मारी है. ये नेता बीएसपी से एसपी में शामिल हुए थे.

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