जयपुर में आईपीडी टावर के लिए भूमि अधिग्रहण को लेकर विरोध तेज, राजस्थान विश्वविद्यालय ने की आंदोलन की शुरुआत
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जयपुर में आईपीडी टावर के लिए भूमि अधिग्रहण को लेकर विरोध तेज, राजस्थान विश्वविद्यालय ने की आंदोलन की शुरुआत

एसएमएस अस्पताल में आईपीडी टावर बनाने के लिए विरोध तेज होने लग गया है. आईपीडी टावर के लिए राजस्थान विश्वविद्यालय ने आंदोलन की शुरूआत कर दी

जयपुर में आईपीडी टावर के लिए भूमि अधिग्रहण को लेकर विरोध तेज, राजस्थान विश्वविद्यालय  ने की आंदोलन की शुरुआत

Jaipur: एसएमएस अस्पताल में आईपीडी टावर बनाने के लिए विरोध तेज होने लग गया है. आईपीडी टावर के लिए राजस्थान विश्वविद्यालय ने आंदोलन की शुरूआत कर दी है. राजस्थान में मेडिकल के क्षेत्र में एक नई क्रांति आने वाली हैं, और ये क्रांति होगी एसएमएस अस्पताल में बन रहा नया आईपीडी टावर, आईपीडी टावर का पिछले दिनों शिलान्यास हुआ, लेकिन आईपीडी टावर को लेकर जो भूमि अधिग्रहण की जा रही है, उसका विरोध देखने को मिल रहा है.

सरकार की ओर से राजस्थान के सबसे पुराने कॉलेज महाराजा कॉलेज और गोखले हॉस्टल की करीब 10 हजार से ज्यादा वर्गमीटर जमीन को आईपीडी टावर के लिए अधिग्रहण करने की योजना बनाई जा रही है और इसको लेकर विभागीय स्तर पर सभी तैयारियां भी पूरी कर ली गई है. लेकिन इस भूमि अधिग्रहण का विरोध महाराजा कॉलेज के विद्यार्थी और गोखले हॉस्टल में रहने वाले छात्र करने लगे हैं. राजस्थान विश्वविद्यालय में कॉलेज और हॉस्टल के छात्रों ने विरोध प्रदर्शन कर आंदोलन की शुरुआत की.
 

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ये सरकार की महत्वकांशी योजना आईपीडी टावर को समय पर बनाने को लेकर पूरा अमला तैयार नजर आ रहा है. आईपीडी टावर को बनाने के लिए जमीन की आवश्यकता पड़ी तो सरकार की ओर से महाराजा कॉलेज और गोखले हॉस्टल की जमीन को अधिग्रहण करने पर सहमति बनी. लेकिन अब इस फैसले का विरोध किया जा रहा है. राजस्थान यूनिवर्सिटी में छात्रों ने "सेव एज्युकेशन सेव महाराजा कॉलेज" के नारे के साथ कुलपति सचिवालय के बाहर प्रदर्शन किया गया.

प्रदर्शन कर रहे छात्रों ने आरोप लगाते हुए कहा कि "महाराजा कॉलेज ना सिर्फ एक कॉलेज है नो राजस्थान की विरासत भी है लेकिन सरकार की ओर से आईपीडी टावर के नाम पर करीब 10 हजार वर्गमीटर से ज्यादा की जमीन को अवाप्त किया जा रहा है. जिसके चलते महाराजा कॉलेज और गोखले हॉस्टल की बहुत सी जमीन अधिग्रहण करने का काम किया जा रहा है. जब तक सरकार इस अधिग्रहण आदेश को वापस नहीं ले लेती है तब तक आंदोलन जारी रहेगा. साथ ही बुधवार को महाराजा कॉलेज से बाहर एक बड़े आंदोलन की शुरुआत की जाएगी.

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