Saturn Retrograde: 17 जून से वक्री होने के बाद शनि मिथुन राशि वालों से कुछ कहना चाहते हैं. वह कुछ लोगों को लाभ देना चाहते हैं तो कुछ को उनकी मेहनत का फल देने के मूड में भी हैं. वक्री होने के बाद शनिवार नवंबर को दोपहर तक इसी स्थिति में रहेंगे. इस तरह शनि महाराज करीब 140 दिनों तक वक्री स्थिति में चलेंगे. यह स्थिति मिथुन राशि के लोगों के लिए कुछ मामलों में सावधान रहने वाली होगी तो कुछ में उन्हें खुशखबरी भी मिलेगी. आइए 10 प्वाइंट्स में समझें कि मिथुन राशि वालों को इस अवधि में कैसे रहना है. 


COMMERCIAL BREAK
SCROLL TO CONTINUE READING

- भाग्य के भरोसे हाथ पर हाथ रखकर नहीं बैठना है. किसी भी प्रकार से आलस्य को हावी नहीं होने देना चाहिए, क्योंकि अब जो शनि वक्री हुए हैं, वह आप के परिश्रम को देखकर आपको फल देने वाले हैं. मिथुन लग्न और राशि वालों के लिए शनि गुरु ज्ञान और गूढ़ रहस्य को उजागर करने वाले होते हैं.


- जो लोग अपने ऑफिस में कॉन्फिडेंशियल डॉक्यूमेंट अपने पास रखते हैं, उनको उनकी सुरक्षा बढ़ा देनी चाहिए. महत्वपूर्ण कागजात, फाइल, हार्ड डिस्क, पेन ड्राइव एवं कंप्यूटर आदि सभी प्रकार से डाटा सिक्योरिटी पर फोकस करना होगा.   


- मेडिकल व मेडिसिन से जुड़े हुए लोगों को अचानक लाभ होने की संभावनाएं बनेंगी. जो लोग सर्जरी से संबंधित उपकरण का व्यापार करते हैं, उनको अपने व्यापार पर फोकस करना चाहिए. 


- पुरानी चीजों का कारोबार करने वाले लोगों को भी अच्छे अवसर प्राप्त होंगे. विशेषकर सेकंड हैंड ऑटो मार्केट से जुड़े हुए लोगों को अधिक लाभ होने की संभावनाएं बनेंगी.


- जो लोग नौकरी तलाश रहे थे और न मिलने के कारण हताश हो गए थे, उनको अचानक अच्छा अवसर प्राप्त होगा और अच्छी नौकरी प्राप्त  होगी. 


- जिन लोगों ने कुछ महीने पहले ही नौकरी बदली है, उन लोगों के ऊपर पुराने संस्थान वापस आने का दबाव बन सकता है और मुंह मांगी सैलरी भी मिल सकती है.  


- मिथुन राशि व लग्न वालों को अपने स्वभाव को बहुत संतुलित रखना होगा. अनावश्यक रूप से उल्टा-सीधा बोलने से बचना चाहिए, अन्यथा बनते हुए काम बिगड़ सकते हैं.  


- सबसे महत्वपूर्ण बात यह है कि यदि अपने संरक्षक, अपने गॉडफादर, पिता या बॉस के साथ किसी बात को लेकर मतभेद हो गए हैं तो अब उनके साथ संबंध सुधारने का सबसे अच्छा समय है. 


- आपको यह बात भी समझनी होगी कि सामने वाला व्यक्ति अगर आपके मन मुताबिक बात कर रहा हो तो यह जरूरी नहीं कि वह आपका विश्वसनीय ही हो.  


- आपकी कमियों को जो भी संरक्षक या शुभचिंतक यदि उजागर करते हैं तो उसमें बुरा न मानते हुए तुरंत उसमें सुधार करने से ही लाभ होगा.