Adhik Maas Amavasya Totke: हिंदू धर्म में अमावस्या का खास महत्व है. वैसे तो अमावस्या हर महीने आती है, लेकिन सावन मास के दौरान ये और ज्यादा महत्वपूर्ण हो जाती है. अधिक मास की अमावस्या इस बार 16 अगस्त के दिन है. बता दें कि ये तीन साल में एक बार आती है. अधिकमास अमावस्या के दिन स्नान के बाद पितरों का तर्पण करना शुभ माना गया है. ऐसी मान्यता है कि इससे पितर प्रसन्न होते हैं और अपना आशीर्वाद व्यक्ति पर बनाएं रखते हैं. ज्योतिष शास्त्र में अधिक माह की अमावस्या पर कुछ उपायों को जिक्र किया गया है, जिन्हें करने से व्यक्ति के दुखों का नाश होता है.  


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अधिक माह अमावस्या पर कर लें ये काम


- अधिक मास की अमावस्या के दिन सुबह स्नान आदि से निवृत होकर पीपल के पेड़ की पूजा जरूर करनी चाहिए. पूजा के साथ-साथ जल अर्पित करने से व्यक्ति को शुभ फलों की प्राप्ति होती है. वहीं, शाम को पीपल के पेड़ के नीचे दीपक जलाने से पितर प्रसन्न होते हैं.  कहते हैं इससे भगवान विष्णु की कृपा आप पर हमेशा बनी रहेगी. 


- ज्योतिष शास्त्र के अनुसार अधिक मास की अमावस्या के दिन सुबह स्नान आदि से निवृत होकर सूर्य देव को जल अर्पित करना भी शुभ माना गया है. लेकिन इस  बात का ध्यान रखें कि जल के लोटे में, फूल लाल चंदन और गुड़ अवश्य डालें. इस उपाय को करने से घर की दरिद्रता दूर होती है और व्यक्ति को आर्थिक तंगी नहीं रहती. 


- अधिक मास की अमावस्या पर तुलसी मां की पूजा करना भी काफी शुभ माना जाता है. कहते हैं कि इस दिन तुलसी की 108 बार परिक्रमा करने से घर में सुख और शांति बनी रहती है. 


- अगर किसी व्यक्ति की कुंडली में चंद्रदोष है तो ये उपाय उनके लिए काफी प्रभावी है. आमवस्या के दिन गाय को चावल और दही खिलाने से चंद्रदोष से मुक्ति मिलती है.  


- अधिक मास की अमावस्या के दिन विष्णु भगवान की पूजा करने से जीवन में आ रही सभी परेशानियां दूर हो जाती है.


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(Disclaimer: यहां दी गई जानकारी सामान्य मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है. ZEE NEWS इसकी पुष्टि नहीं करता है.)