Hanuman ji ki Pooja ke Niyam: प्रभु श्री राम के अनन्य भक्त रुद्रावतार श्री हनुमान जी बहुत ही आसानी से अपने भक्तों पर प्रसन्न हो जाते हैं. हनुमान चालीसा में गोस्वामी तुलसीदास ने श्री हनुमान जी को गुरु मानते हुए अपने को बुद्धिहीन बताते हुए, उनसे अपने को बुद्धिवान, बलशाली बनाने की प्रार्थना की है. मंगलवार का दिन श्री हनुमान जी को समर्पित है, इसलिए हनुमत भक्त मंगलवार के दिन हर हाल में मंदिर जाकर श्री हनुमान जी से प्रार्थना करते हैं. मान्यता है कि श्री हनुमान जी के समक्ष हनुमान चालीसा और सुंदरकांड का पाठ करने से वह प्रसन्न होते हैं और मनवांछित फल प्रदान करते हैं. 


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यदि आप भी हनुमान जी की पूजा करने जा रहे हैं तो आपको कुछ बातों का पहले से ध्यान रखना आवश्यक होगा, ताकि आपकी पूजा सही विधि से होने के साथ ही सफल भी हो सके. इस लेख में श्री हनुमान जी की कृपा पाने के लिए कुछ महत्वपूर्ण उपाय बताए जा रहे हैं, जिनका ध्यान आपको रखना चाहिए. 


श्री हनुमान जी की आराधना में शुद्धता का विशेष ध्यान रखना चाहिए. इसके लिए पहला कार्य है स्नान करना ताकि आपका शरीर यानी तन शुद्ध हो और विषय विकारों से हटाकर सिर्फ हनुमान जी का ही ध्यान करने से मन भी शुद्ध होता है. तन और मन की शुद्धता का विशेष ध्यान रखना चाहिए. 


पूजा करने के लिए एक शांत और पवित्र स्थान चुनना चाहिए. यह स्थान मंदिर, पूजा कक्ष या अपने ही घर का कोई धार्मिक स्थान हो सकता है. जिस स्थान का भी चयन करें उसे पहले जल से पवित्र करें और फिर प्रतिमा के सामने आसन बिछाकर पद्मासन या सुखासन में बैठकर ही पूजन करें. 


हनुमान जी की पूजा के लिए आपको कुछ आवश्यक सामग्री की जरूरत होगी. जैसे कि लाल वस्त्र, लाल चंदन, सिंदूर, धूप, दीप, फूल, पुष्पमाला, पंचामृत, नैवेद्य आदि. पूजन के पहले ही उक्त सामग्री को तैयार कर लें.


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