Maruti ने रेलवे के साथ मिलकर किया कुछ ऐसा प्लान, सुनकर आप भी खुश हो जाएंगे
साल 2014-15 में कंपनी ने रेलवे ट्रांसपोर्टेशन के जरिये 65,700 गाड़ियों को भेजा था. साल 2023-24 में यह आंकड़ा बढ़कर 4,47,750 हो गया. कंपनी के एमडी और सीईओ Hisashi Takeuchi का कहना है कि हमारी उत्पादन क्षमता वित्त वर्ष 2030-31 तक करीब दोगुनी होकर 20 लाख यूनिट से 40 लाख यूनिट हो जाएगी.
Maruti Suzuki Future Plan: मारुति सुजुकी (Maruti Suzuki) आने वाले 7 से 8 साल में अपनी कारों को भारतीय रेलवे के जरिये देशभर में भेजना चाहता है. कंपनी के एमडी और सीईओ Hisashi Takeuchi ने बताया कि वो जितनी कारों का निर्माण करते हैं, आने वाले समय में उन कारों का 35 प्रतिशत रेलवे के जरिये भेजे जाने का प्लान है. अभी सिर्फ 21.5 प्रतिशत गाड़ियों को ही रेलवे ट्रांसपोर्ट के जरिये भेजा जाता है. यह आंकड़ा साल 2014-15 में महज 5 प्रतिशत था. धीरे-धीरे इसमें बढ़ोतरी हो रही है.
देश की सबसे बड़ी कार निर्माता कंपनी मारुति सुजुकी (Maruti Suzuki) अपनी कारों को भारतीय रेलवे के जरिये देशभर में ज्यादा से ज्यादा भेजना चाहती है. कंपनी का कहना है कि वो कारों का 35 प्रतिशत रेल से भेजना चाहती है. साल 2014-15 में कंपनी ने रेलवे ट्रांसपोर्टेशन के जरिये 65,700 गाड़ियों को भेजा था. साल 2023-24 में यह आंकड़ा बढ़कर 4,47,750 हो गया. कंपनी के एमडी और सीईओ Hisashi Takeuchi का कहना है कि हमारी उत्पादन क्षमता वित्त वर्ष 2030-31 तक करीब दोगुनी होकर 20 लाख यूनिट से 40 लाख यूनिट हो जाएगी. ऐसे में हम अगले 7-8 साल में रेल के जरिये गाड़ियां भेजने का रेश्यो बढ़ाकर 35 फीसदी तक ले जाने का प्लान कर रहे हैं.
मारुति सुजुकी (Maruti Suzuki) ने अब तक रेलवे के जरिये 20 लाख से ज्यादा गाड़ियां देशभर में भेजी हैं. कंपनी अपनी गाड़ियों को 20 अलग-अलग जगह पर भेजती है. यानी रेलवे के जरिये 450 से ज्यादा शहरों तक गाड़ियां पहुंचाई जा रही हैं. Hisashi Takeuchi का कहना है कि मारुति (Maruti Suzuki) ने 10 साल पहले ही गाड़ियों को रेल से भेजने की शुरुआत कर दी थी. दरअसल, Maruti Suzuki देश में पहली ऐसी कार कंपनी है, जिसने कारों को रेल से भेजने का लाइसेंस लिया था.
तब से कंपनी रेलवे के जरिये गाड़ियां भेजने की संख्या को लगातार बढ़ा रही है. उन्होंने बताया कि पर्यावरण को कम नुकसान पहुंचाने वाले ट्रांसपोर्टेशन के लिए किए गए हमारे लगातार प्रयासों के कारण, हमने शानदार नतीजे हासिल किए हैं. इनमें कुल मिलाकर 10,000 मीट्रिक टन CO2 उत्सर्जन कम करना और 270 मिलियन लीटर ईंधन की बचत शामिल है.
कंपनी ने 2070 तक देश के नेट जीरो उत्सर्जन लक्ष्य को हासिल करने में मदद करने की भी प्रतिबद्धता जताई है. उन्होंने बताया कि इसी साल की शुरुआत में, प्रधानमंत्री गति शक्ति कार्यक्रम के तहत, प्रधानमंत्री मोदी ने मारुति सुजुकी की गुजरात संयत्र में देश के पहली ऑटोमोबाइल इन-प्लांट रेलवे साइडिंग का उद्घाटन किया. यह सुविधा हर साल 3 लाख गाड़ियों को भेजने की क्षमता रखती है. कंपनी ने बताया कि उनकी मानेसर फैक्ट्री में भी जल्द ही ऐसी ही रेलवे साइडिंग चालू कर दी जाएगी.