कोलकाता/कोच्चि: पंजाब नेशनल बैंक (पीएनबी) द्वारा जारी साख पत्रों के आधार पर हुए 11,400 करोड़ रुपये के घोटाले में इलाहाबाद बैंक का भी करीब 2,000 करोड़ रुपये फंसा है. एक सूत्र ने कहा कि इलाहाबाद बैंक ने भी पीएनबी के धोखाधड़ी से जारी गारंटी पत्रों के आधार पर 2,000 करोड़ रुपये का ऋण दिया है. इन साख पत्रों के आधार पर अन्य बैंकों की विदेशी शाखाओं ने नीरव मोदी की कंपनियों को कर्ज दिया. सूत्र ने कहा कि यह पैसा इलाहाबाद बैंक की हांगकांग शाखा से पीएनबी के नोस्ट्रो खाते में स्थानांतरित किया गया. सूत्र ने कहा कि बैंक ने इस पैसे की वसूली के लिए पहले ही दावा कर दिया है.


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पीएनबी घोटाला: एसबीआई ने भी दिया है 1,360 करोड़ रुपये का कर्ज
पंजाब नेशनल बैंक (पीएनबी) के 11,400 करोड़ रुपये के घोटाले में देश के सबसे बड़े ऋणदाता भारतीय स्टेट बैंक (एसबीआई) ने भी 1,360 करोड़ रुपये का कर्ज दिया है. पीएनबी द्वारा जारी साख पत्र के आधार पर एसबीआई ने 21.2 करोड़ डॉलर या 1,360 करोड़ रुपये का कर्ज दिया है. हालांकि, सार्वजनिक क्षेत्र के इस बैंक ने सीधे नीरव मोदी को कोई ऋण नहीं दिया है.


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एसबीआई के चेयरमैन रजनीश कुमार ने 16 फरवरी को कोच्चि में कहा, ‘‘हमने नीरव मोदी को सीधे कोई कर्ज नहीं दिया है, लेकिन पीएनबी को जरूर कुछ धन दिया है.’’ उन्होंने बताया कि बैंक ने पीएनबी द्वारा जारी साख या गारंटी पत्र (एलओयू) के आधार पर मोदी को 21.2 करोड़ रुपये का कर्ज दिया है. कुमार ने कहा कि एसबीआई ने नीरव मोदी के रिश्तेदार गीतांजलि जेम्स के मेहुल चौकसी को जरूर कुछ कर्ज दिया है. हालांकि, यह बहुत बड़ी राशि नहीं है और हम इसको लेकर चिंतित नहीं हैं.


एसबीआई के रत्न एवं आभूषण क्षेत्र को कर्ज के बारे में पूछे जाने पर कुमार ने कहा कि यह बैंक के कुल घरेलू ऋण का एक प्रतिशत से भी कम है. उन्होंने कहा, ‘‘हमारी घरेलू ऋण बुक 16 लाख करोड़ रुपये है. इसमें रत्न एवं आभूषण क्षेत्र का हिस्सा 13,000 करोड़ रुपये है जो एक प्रतिशत से भी कम बैठता है.’’


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पीएनबी धोखाधड़ी मामला: ईडी की जब्ती 5,649 करोड़ रुपये तक पहुंची
प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने पंजाब नेशनल बैंक में 11,400 करोड़ रुपये के कथित फर्जीवाड़े के सिलसिले में अपनी धन शोधन जांच के तहत अरबपति हीरा व्यापारी नीरव मोदी और उसके कारोबार सहयोगी एवं आभूषण श्रृंखला प्रमोटर मेहुल चोकसी को शुक्रवार (16 फरवरी) को सम्मन जारी किया. इसके साथ ही ईडी ने अपनी ताजा छापेमारी में 549 करोड़ रुपये मूल्य के हीरे और रत्न जब्त किए.


‘घोटाला सामने आने के चार दिन में सीबीआई के पास पहुंच गया पीएनबी’
पंजाब नेशनल बैंक ने कहा है कि नीरव मोदी द्वारा 11,394.02 करोड़ रुपये की कथित धोखाधड़ी सामने आने के चार दिन बाद ही उसने भारतीय रिजर्व बैंक तथा सीबीआई को धोखाधड़ी की पहली सूचना दी. बैंक ने इस बारे में नियामकी खुलासा दस दिन बाद किया. उल्लेखनीय है कि शेयर बाजारों ने इस धोखाधड़ी मामले में बारे में बैंक से स्पष्टीकरण मांगा था. 


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बैंक ने 15 फरवरी को सारे घटनाक्रम का ब्यौरा दिया और बताया कि मोदी व उससे सम्बद्ध कंपनियों ने 1.77 अरब डॉलर मूल्य की फर्जी बैंक गारंटियों का इस्तेमाल भारतीय बैंकों की विदेशी शाखाओं से कर्ज लेने के लिए किया. बैंकों का कहना है कि 25 जनवरी 2018 को यह घोटाला उसकी नजर में आया. उसने 29 जनवरी को भारतीय रिजर्व बैंक को इसकी जानकारी दी. इसी दिन सीबीआई के यहां प्राथमिकी एफआईआर दर्ज कर दी गई. शेयर बाजारों को इस बारे में सूचना पांच फरवरी को दी गई.


(इनपुट एजेंसी से भी)